नई दिल्ली: देश में लगातार कोरोना का खतरा बढ़ रहा है, लगातार दूसरे दिन देश में 24 घंटों में 90 हजार से ज्यादा नए केस सामने आए हैं. इस बढ़ते खतरे के बीच भारत रूस की कोरोना वैक्सीन की का गंभीरता से अध्ययन कर रहा है. भारत में रूस से राजदूत निकोलाई कुदाशेव ने कहा कि रूस विभिन्न स्तर पर वक्सीन को लेकर भारत के संपर्क में है.
अंग्रेजी अखबार में छपी रिपोर्ट के मुताबिक रूस ने भारत के साथ वैक्सीन को लेकर सहयोग के तरीके साझा किए हैं. फिलहाल भारत इस वैक्सीन के इस्तेमाल को लेकर अध्ययन कर रहा है. इस मामले में अभी और अधिक जानकारी का इंतजार है. दोनों देशों के बीच वैक्सीन के सप्लाई और प्रोडक्शन को लेकर भी बात चल रही है.
रूस: अगले हफ्ते से आम जनता को भी मिलगी
कोरोना वैक्सीन 'स्पुतनिक V' को अगले हफ्ते आम नागरिकों के लिए उपलब्ध कराया जा सकता है. रूस के रक्षा मंत्री को कोरोना वैक्सीन 'स्पुतनिक V' दी गई है. दवा लेने के बाद रक्षा मंत्री ने कहा है कि वह अच्छा महसूस कर रहे हैं और कोई साइड इफेक्ट का अनुभव नहीं कर रहे हैं. इससे पहले रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और उनकी एक बेटी को भी टीका दिया जा चुका है और उसमें एंटीबॉडी विकसित हुए हैं.
राष्ट्रपति पुतिन ने कहा- टीका प्रभावी और सुरक्षित
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने रूस द्वारा पिछले महीने मंजूरी दिए गए कोरोना वायरस के टीके की प्रशंसा की और कहा कि यह प्रभावी और सुरक्षित है. राष्ट्रपति ने इसके साथ ही अंतरराष्ट्रीय आशंकाओं को दूर करने की कोशिश की जो केवल दो महीने तक कुछ दर्जन लोगों पर परीक्षण के आधार पर मंजूरी देने पर सवाल उठा रहे हैं.
पुतिन ने जोर देकर कहा कि कोरोना वायरस के खिलाफ दुनिया के पहले टीके को सरकार ने सख्त रूसी कानून की कसौटी पर परखने के बाद मंजूरी दी है और ये कानून अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप है.
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