India Slams China: चीन ने एक बार फिर आतंकवाद से समझौता करते हुए भारत (India) के एक प्रस्ताव पर अडंगा लगाया है. चीन ने खूंखार आतंकी अब्दुल रऊफ असगर (Abdul Rauf Asghar) को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद 1267 प्रतिबंध समिति के नामित आतंकवादी की सूची में डालने के भारत के प्रस्ताव को मंजूरी नहीं दी. इस मसले पर भारत ने चीन (China) को करारा जवाब दिया है. भारत ने संयुक्त राष्ट्र में पाकिस्तान के आतंकवादियों (Terrorist) की सूची में डालने पर चीन की रोक को दुर्भाग्यपूर्ण और राजनीति से प्रेरित बताया है.


भारत ने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि राजनीतिक कारणों से प्रतिबंध समिति को अपनी भूमिका निभाने से रोका गया है. जब आतंकवाद के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय समुदाय की साझा लड़ाई की बात आती है तो चीन की हरकतें उसके दोहरे रवैये और दोहरे मानकों को उजागर करती हैं. चीन द्वारा इस तरह की राजनीति से प्रेरित कार्रवाई पाकिस्तान-आधारित आतंकी के लगभग हर लिस्टिंग मामले में UNSC प्रतिबंध समितियों के काम करने के तरीकों को कमजोर करती है. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की 15 सदस्यीय समिति में चीन एकमात्र देश है जिसने रऊफ को आतंकियों की इस सूची में डालने पर हामी नहीं भरी. यूएनएससी (UNSC) के अन्य सभी 14 सदस्य राज्यों ने सूचीकरण प्रस्ताव का समर्थन किया. 


जैश-ए-मोहम्मद का कमांडर है अब्दुल रऊफ 


भारत और अमेरिका (America) ने असगर को संयुक्त राष्ट्र नामित अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी के रूप में नामित करने का प्रस्ताव रखा था. प्रस्ताव में कहा गया कि अब्दुल रऊफ अजहर (असगर) को वैश्विक आतंकवादी के रूप में नामित किया जाए और उसकी संपत्ति फ्रीज की जाए, यात्रा प्रतिबंध और हथियार खरीद प्रतिबंधित की जाए. अब्दुल रऊफ अजहर पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद का एक शीर्ष कमांडर है और जैश-ए-मोहम्मद के कमांडर के मसूद अजहर का छोटा भाई है. अमेरिकी ट्रेजरी ने साल 2010 में ही रऊफ को आतंकवादियों की सूची में डाल दिया था.


कई आतंकी हमलों में रहा है शामिल


इसके बाद इस आतंकवादी को वैश्विक आतंकी घोषित करने के लिए यूएनएससी में प्रस्ताव भी पारित किया गया, लेकिन चीन इससे पीछे हट गया. असगर को पाकिस्तानी अधिकारियों ने 2019 में टेरर फंडिंग के आरोपों में गिरफ्तार किया था, लेकिन ये स्पष्ट नहीं है कि वह अभी कहां है. अब्दुल रऊफ अजहर (असगर) इंडियन एयरलाइंस के विमान (1999) के अपहरण, भारतीय संसद पर हमले (2001), भारतीय वायुसेना पर हमला, पठानकोट, पुलवामा और जम्मू के अन्य स्थानों में सुरक्षा बल के जवानों पर हमलों में शामिल रहा है. 


चीन ने दूसरी बार लगाई रोक


ये दो महीने में दूसरी बार है जब चीन (China) ने यूएनएससी (UNSC) में भारत-यूएस के आतंकी को लिस्ट में डालने के प्रस्ताव पर रोक लगाई है. इससे पहले जून 2022 में चीन ने प्रतिबंध सूची में लश्कर-ए-तैयबा के उप प्रमुख अब्दुल रहमान मक्की को सूचीबद्ध करने के भारत (India) और अमेरिका (America) के संयुक्त प्रस्ताव को रोक दिया था. मक्की मुंबई आतंकी हमलों (2008) सहित भारत में हिंसा और योजना हमलों का सहारा लेने के लिए धन जुटाने, युवाओं को भर्ती करने और कट्टरपंथी बनाने में शामिल रहा है. इन दोनों लिस्टिंग प्रस्तावों के लिए साक्ष्य भी हैं. 


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