Indian Air Force: पाकिस्तानी सीमा में मिसाइल दागने वाले वायुसेना के 3 अधिकारी बर्खास्त, एसओपी का पालन ना करने का दोषी पाए गए
Indian Air Force News: भारत सरकार ने इस घटना को बेहद गंभीरता से लेते हुए उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए थे. साथ ही मिसाइलों के रखरखाव से जुड़े एसओपी की भी समीक्षा के आदेश दिए थे.
Indian Air Force Sacked Three Officers: दुर्घटनावश पाकिस्तान (Pakistan) की सीमा में ब्रह्मोस मिसाइल दागने वाले वायुसेना (Air Force) के तीन बड़े अधिकारियों को हमेशा-हमेशा के लिए नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया है. वायुसेना की जांच रिपोर्ट में तीनों अधिकारियों को एसओपी (SOP) का पालन ना करने का दोषी पाया गया है.
वायुसेना ने एक संक्षिप्त बयान जारी कर बताया कि तीनों अधिकारियों को मुख्य रूप से से ब्रह्मोस मिसाइल (Brahmos Missile) दागने का दोषी पाया गया है. घटना की जांच के लिए गठित कोर्ट ऑफ इंक्वायरी में पाया गया कि स्टैंडर्ड ओपरिटंग प्रोसिजर्स (एसओपी) से डैवएशन यानि पालन ना करने के चलते तीनों अधिकारियों ने गलती से मिसाइल दागी थी.
बर्खास्त अधिकारियों के नामों का नहीं किया खुलासा
हालांकि, वायुसेना ने अपने बयान में इन तीनों अधिकारियों की पहचान का खुलासा नहीं किया है लेकिन सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक दोषी पाए गए अधिकारियों में एक ग्रुप कैप्टन रैंक के अधिकारी हैं और दो विंग कमांडर हैं. वायुसेना के मुताबिक, तीनों अधिकारियों को बर्खास्तगी के आदेश 23 अगस्त यानि मंगलवार को दे दिए गए हैं.
गौरतलब है कि इसी साल 9 मार्च को भारत की एक 'अनआर्म्ड' सुपरसोनिक ब्रह्मोस मिसाइल निरीक्षण के दौरान अनजाने में पाकिस्तान के मिया चन्नू इलाके में जाकर गिर गई थी. हालांकि, इस घटना में किसी की जान तो नहीं गई थी लेकिन जिस कोल्ड-स्टोरज पर ये जाकर गिरी थी वो पूरी तरह से तबाह हो गया था. पाकिस्तान ने इस घटना को लेकर कड़ा ऐतराज जताया था और एक साझा-जांच की मांग की थी. पाकिस्तान ने यहां तक आरोप लगा दिया था कि भारत की ये मिसाइलें कोई रौग-एलीमेंट तो हैंडल नहीं कर रहे थे.
सरकार ने दिए थे उच्च स्तरीय जांच के आदेश
भारत सरकार ने इस घटना को बेहद गंभीरता से लेते हुए उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए थे. साथ ही मिसाइलों के रखरखाव से जुड़े एसओपी की भी समीक्षा के आदेश दिए थे। माना जा रहा है कि जांच रिपोर्ट में इन एसओपी की भी समीक्षा की गई है. घटना के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Defence Minister Rajnath Singh) ने संसद को बताया था कि सरकार ने इस घटना को बेहद गंभीरता से लेते हुए एक उच्च-स्तरीय जांच के आदेश दिए हैं.
संसद में दिए अपने बयान में रक्षा मंत्री ने कहा कि भले ही हमारे मिसाइल सिस्टम अत्यंत सुरक्षित और भरोसेमंद है लेकिन अगर उसमें किसी तरह की कोई खामी पाई जाती है तो उसे तुरंत दूर किया जाएगा. यही वजह है कि इस घटना के संदर्भ में ऑपरेशन्स, मेंटनेंस और इंस्पेक्शन यानि निरीक्षण के लिए स्टैंडर्ड ओपरेटिंग प्रोसिजर यानि एसओपी की समीक्षा की जा रही है. राजनाथ सिंह ने कहा था कि हम अपने वैपन सिस्टम्स की सेफ्टी और सिक्योरिटी को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हैं.
रक्षा मंत्री ने कहा अंजाने में हुई घटना
राजनाथ सिंह ने साफ तौर से कहा था कि 9 मार्च को जो घटना हुई वो मिसाइल के निरीक्षण के दौरान अनजाने में हुई थी. हालांकि उन्होनें कहा था कि हमारे मिसाइल सिस्टम बेहद सुरक्षित और भरोसेमंद हैं, हमारी सेफ्टी प्रक्रिया और प्रोटोकॉल उच्चस्तरीय हैं और समय-समय पर इसकी समीक्षा की जाती है. रक्षा मंत्री ने कहा कि हमारे सशस्त्र-बल बेहद अनुशासित और बेहतरीन ट्रेनिंग लिए हुए हैं. उन्होनें कहा कि इस तरह के मिसाइल सिस्टम को हैंडल करने का हमारी सेनाओं को एक अच्छा अनुभव है.
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