Ballistic Helmets: सिख सैनिकों के लिए बैलिस्टिक हेलमेट का विरोध, SGPC ने कहा- यह किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं
Indian Army: आतंकग्रस्त और उग्रवाद प्रभावित राज्यों में बम विस्फोट और हैंड ग्रैनेड से भी यह आधुनिक बैलिस्टिक हेलमेट काफी सेफ्टी प्रदान करता है.
Controversy on Ballistic Helmets For Sikh Soldiers: सिख सैनिकों के लिए बैलिस्टिक हेलमेट शामिल करने के मामले में विवाद बढ़ने लगा है. शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) ने इस तरह के किसी भी कदम का कड़ा विरोध किया है. सिखों के सर्वोच्च धार्मिक निकाय एसजीपीसी के एक प्रतिनिधिमंडल ने इस मुद्दे पर चर्चा करने के लिए राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग (एनसीएम) के प्रमुख से शुक्रवार (2 फरवरी) को मुलाकात की.
एसजीपीसी प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि सिख पहचान के मामले में किसी भी तरह का हस्तक्षेप बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि किसी भी हाल में सिख सैनिकों के सिर पर हेलमेट मंजूर नहीं किया जा सकता. बता दें कि यह टिप्पणी इन खबरों के बीच आई है जिसमें सेना की तरफ से सिख सैनिकों के लिए बैलिस्टिक हेलमेट शामिल करने की बात कही गई है.
राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के सामने रखी आपत्ति
एसजीपीसी के प्रतिनिधिमंडल ने शुक्रवार को नई दिल्ली में राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के कार्यालय में बैठक में हिस्सा लिया. प्रतिनिधिमंडल में एसजीपीसी के महासचिव गुरचरण सिंह ग्रेवाल और एसजीपीसी सदस्य राघबीर सिंह सहारन माजरा शामिल थे. प्रतिनिधिमंडल ने सिख सैनिकों के लिए हेलमेट शामिल करने के सरकार के कथित प्रस्ताव पर राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष इकबाल सिंह लालपुरा के समक्ष कड़ी आपत्ति दर्ज कराई.
बुलेट-बम से बचाता है बैलिस्टिक हेलमेट
आतंकग्रस्त जम्मू-कश्मीर और उत्तर पूर्व के उग्रवाद प्रभावित राज्यों में बम विस्फोट और हैंड ग्रैनेड की मार से भी यह आधुनिक बैलिस्टिक हेलमेट काफी सेफ्टी प्रदान करता है क्योंकि बम विस्फोट से कभी-कभी सिर में भी काफी चोट आती थी, लेकिन नए हेलमेट से सिर की सेफ्टी भी रहती है. यही वजह है कि सीआई-सीटी ऑप्स में तैनात सिख सैनिकों के लिए अब रक्षा मंत्रालय 13 हजार नए वीर-हेलमेट खरीदने जा रहा है. माना जा रहा है कि यह करार भी एमकेयू कंपनी से ही किया जा सकता है क्योंकि एमकेयू ने पहले ही सिख सैनिकों के लिए 'वीर हेलमेट' बनाकर तैयार कर लिया है.
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