बुलंदशहर हिंसा: राज्य की परवाह करने के बजाए सीएम तेलंगाना में जहर उगल रहे हैं: सिब्बल
सूत्रों के मुताबिक, इंस्पेक्टर सुबोध को गोली मारने वाला एक रिटायर्ड फौजी है, जो महाव गांव का रहने वाला है. सुबोध की हत्या मामले में अब तक 7 लोगों की पहचान की गई है और दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है. हिंसा क्यों हुई और सुबोध कुमार सिंह को अकेले छोड़कर पुलिस वाले क्यों भागे? इसकी जांच के लिए एसआईटी गठित की गई है.
नई दिल्ली: यूपी के बुलंदशहर में कल जो हुआ उससे पूरा देश सकते में है. गोवंश की हत्या के शक में हुई हिंसा में ड्यूटी पर तैनात एक इंस्पेक्टर और एक बेकसूर नौजवान की जान चली गई. जैसे जैसे जांच बढ़ रही है वैसे वैसे नए नए खुलासे हो रहे हैं. इस मामले पर अब राजनीति भी शुरू हो गई है. तमाम राजनीतिक दल मामले को अपने अपने हिसाब से देख रहे हैं.
मामले में हिंदूवादी संगठनों के कार्यकर्ताओं के नाम आने पर डिप्टी सीएम केशव मौर्य ने पल्ला झाड़ लिया है. केशव मौर्य ने कहा है कि मामले की जांच जारी है, रिपोर्ट आने से पहले किसी का नाम लेना उचित नहीं है. वहीं समाजवादी पार्टी नेता आजम खान ने कहा है कि जिस जहां मांस मिलने का दावा किया जा रहा है उस क्षेत्र में अल्पसंख्यकों की आबादी नहीं है.
जानें मामले पर अब तक किसने क्या कहा?
राज्य छोड़ तेलंगाना में जहर उगल रहे योगी: सिब्बल पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने कहा, ''यह बहुत चौंकाने वाला है कि अखलाक केस की जांच रहे पुलिस अधिकारी को भीड़ ने मार दिया. इन लोगों को कानून हाथ में लेने का अधिकार किसने दिया. राज्य की परवाह करने के बजाए मुख्यमंत्री तेलंगाना जा रहे हैं और जहर उगल रहे हैं.''
इलाके में अल्पसंख्यक नहीं, मांस कहां से आया?- आजम खान समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और उत्तर प्रदेश के पूर्व मंत्री आजम खान ने कहा कि अगर सच में गोवंश का मांस इलाके में मिला है तो इसकी पुलिस जांच करे कि मांस वहां लाया कौन था? क्योंकि जहां मांस मिलने का दावा किया जा रहा है उस क्षेत्र में अल्पसंख्यकों की आबादी नहीं है.
उत्तर प्रदेश के उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने एबीपी न्यूज़ से बात करते हुए कहा कि घटना बहुत दुखदायी है, ना तो जनता की ओर से आक्रोश होना चाहिए था और ना पुलिस की ओर से लापरवाही होनी चाहिए थी. हमें घटना का दुख और जांच जारी है. एसआईटी का गठन किया गया है. जब तक जांच पूरी ना हो जाए किसी का नाम लेना उचित नहीं है. किसी का नाम लेना जल्दबाजी होगी.
सुबोध कुमार को लेकर डिप्टी सीएम ने कहा, "यह बहुत बड़ी घटना है, इस घटना से हम सभी दुखी हैं. परिवार को जो भारी दुख दुख हुआ है, ईश्वर इसे सहने की शक्ति दे. ये भले की सेवा का एक हिस्सा लेकिन परिवार के लिए अगर कुछ ऐसा अप्रत्याशित होता है, तो अपार दुख होता है. इसे योगी जी के किसी बयान से जोड़कर नहीं देखना चाहिए. जांच सही हो और इसी हिसाब के कार्रवाई होगी.''
दंगा में इंसान नहीं इंसानित भी मरती है: मुख्तार अब्बास नकवी केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा, ''किसी भी तरह का दंगा होता है तो सिर्फ इंसान नहीं मरता बल्कि इंसानियत भी मरती है. कुछ भी बुलंदशहर में हुआ यह मानवता के खिलाफ है और इंसानियत को शर्मसार करने वाली घटना है. राज्य सरकार ने कहा है कि जो लोग भी इस घटना में संलिप्त हैं उसे कानून के दायरे में लाया जाएगा. जिम्मेदार लोगों के खिलाफ बिना किसी भेदभाव के कार्रवाई की जाएगी. मैं लोगों से अपील करता हूं कि अशांति फैलाने वाले लोगों से सावधान रहें.''
यह वीएचपी का पहले से तय षडयंत्र: राजभर योगी सरकार में मंत्री और अपनी ही सरकार में मुखर ओम प्रकाश राजभर ने कहा, ''यह वीएचपी का पहले से तय षडयंत्र था. अब पुलिस कुछ बीजेपी कार्यकर्ताओं के भी नाम ले रही है. मुस्लिम इज्तिमा के दिन ही प्रदर्शन क्यों हुआ. यह शांति भंग करने का प्रयास है.
हिंसा और अराजकता के दौर से गुजर रहा यूपी: अखिलेश यादव पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ट्वीट किया, ''बुलंदशहर में पुलिस व ग्रामीणों के संघर्ष में स्याना कोतवाल सुबोध कुमार सिंह की मौत का समाचार बेहद दुखद है. भावपूर्ण श्रद्धांजलि. उप्र भाजपा के शासनकाल में हिंसा और अराजकता के दुर्भाग्यपूर्ण दौर से गुज़र रहा है.''