जम्मू: जम्मू एयरफोर्स स्टेशन में हुए धमाके मामले की जांच के लिए नेशनल सिक्योरिटी गार्ड्स (एनएसजी) की घटनास्थल पर पहुंच चुकी है. इससे पहले एनआईए की टीम जांच के लिए यहां पहुंची थी. इस धमाके से जुड़ी सभी जानकारियां जुटाई जा रही हैं. वहीं इन सब के पीछे पाकिस्तान का हाथ बताया जा रहा है. बीती रात एयरफोर्स स्टेशन पर दो ड्रोन के जरिए हमला किया गया. इसमें दो जवान मामूली रूप से घायल हो गए.


एनआईए की हिरासत में दो संदिग्ध


इस मामले में एनआईए ने दो संदिग्धों को जम्मू के बेलीचारना इलाके से हिरासत में लिया है. इन पर आतंकी संगठनों की मदद का आरोप है. खुफिया सूत्रों के मुताबिक, एयर ट्रैफिक कंट्रोल और एमआई-17 के विमान ड्रोन हमले का मुख्य टारगेट था लेकिन चूक हो गई.


यूएपीए के तहत एफआईआऱ


वहीं विस्फोट की घटना को लेकर को गैर कानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए) के तहत प्राथमिकी दर्ज की गयी. अधिकारियों का कहना था कि ऐसा शायद पहली बार हुआ है कि पाकिस्तान के संदिग्ध आतंकवादियों ने हमले में मानवरहित यान का इस्तेमाल किया है.


अधिकारियों ने बताया कि वायुसेना के कनिष्ठ वारंट अधिकारी के आवेदन पर सतवारी थाने में विस्फोटक सामग्री अधिनियम, गैर कानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए) और आईपीसी की संबंधित धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई.


पाक की साजिश का पर्दाफाश


एलओसी पर सीजफायर हुए सौ दिन से ज्यादा हो चुके हैं. भले ही वहां पर शांति बनी हुई है लेकिन भारत में अशांति फैलाने की पाकिस्तान की कोशिशें कम नहीं हुईं. 20 जून 2021 को पाकिस्तान ने ड्रोन के जरिए भारत में हथियार भेजा था. वहीं अभी 25 जून को ही बीएसएफ ने पाकिस्तान की एक और साजिश को नाकाम कर दिया था. तंगधार में अंतरराष्ट्रीय सीमा पर घुसपैठ कराकर पाकिस्तान भारत में ड्रग्स भेज रहा था. बीएसफ ने घुसपैठ की साजिश नाकाम की और घुसपैठिए को मार गिराया. हथियार और करोड़ों रुपये के ड्रग्स जब्त किए गए थे.


जम्मू एयफोर्स स्टेशन ब्लास्ट: एक धमाके से छत को पहुंचा नुकसान, दूसरे ने जमीन में किए गड्ढे