कठुआ में सेना ने दो आतंकियों को किया ढेर, एनकाउंटर में 3 जवानों के भी शहीद होने की आशंका
Jammu Kashmir Encounter: अधिकारियों ने बताया कि इस मुठभेड़ में लगभग पांच आतंकवादियों का एक ग्रुप शामिल है. घायल सुरक्षाकर्मियों की हालत स्थिर बताई जा रही है.

Jammu Kashmir Encounter: जम्मू-कश्मीर के कठुआ जिले में हुई मुठभेड़ में दो आतंकवादी मारे गए और पांच सुरक्षाकर्मी घायल हो गए. अधिकारियों ने गुरुवार (27 मार्च 2025) को यह जानकारी दी. इस एनकाउंटर में तीन जवानों के शहीद होने की भी आशंका जताई जा रही है. हालांकि, सेना की ओर से अभी इसकी पुष्टि नहीं की गई है.
सुरक्षा बलों ने करीब पांच आतंकी घुसपैठियों के समूह को खत्म करने के लिए अपना अभियान तेज कर दिया है. हालांकि यह अभी स्पष्ट नहीं हो पाया है कि क्या यह वही समूह है, जो कठुआ क्षेत्र के सान्याल जंगल में पहले की गई घेराबंदी से बचकर भाग रहा था या फिर हाल ही में घुसपैठ करने वाले आतंकवादियों का एक और समूह था.
घायल जवानों की हालत स्थिर
अधिकारियों ने कहा कि मुठभेड़ के दौरान भीषण गोलीबारी और विस्फोट हुए. राजबाग के घाटी जूथाना क्षेत्र में जखोले गांव के पास हुई इस मुठभेड़ में लगभग पांच आतंकवादियों का एक समूह शामिल है. शुरुआती गोलीबारी में विशेष पुलिस अधिकारी भरत चलोत्रा घायल हो गए और उनके चेहरे पर चोट आई हैं. उन्हें कठुआ के एक अस्पताल में इलाज के बाद जम्मू के सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में स्थानांतरित कर दिया गया, जहां उनकी हालत स्थिर बताई गई है.
दो आतंकियों को किया ढेर
अधिकारियों ने बताया कि जम्मू-कश्मीर पुलिस के विशेष अभियान समूह (एसओजी) के नेतृत्व में सेना, बीएसएफ और सीआरपीएफ की सहायता से किए गए हमले में दो आतंकवादी ढेर हो गए. इस दौरान एक उप-विभागीय पुलिस अधिकारी (एसडीपीओ) समेत तीन सुरक्षाकर्मी कथित तौर पर मुठभेड़ स्थल के पास फंस गए, जो घने पेड़ों से घिरे एक नाले के पास है.
अधिकारियों ने कहा कि मुठभेड़ समाप्त होने के बाद ही स्पष्ट तस्वीर सामने आएगी. रविवार (23 मार्च) शाम कठुआ जिले के हीरानगर सेक्टर में एसओजी ने आतंकवादियों के एक समूह को रोका था. अधिकारियों ने बताया कि व्यापक तलाशी अभियान के बावजूद आतंकवादी प्रारंभिक घेराबंदी से बच निकलने में सफल रहे. उन्होंने कहा कि माना जा रहा है कि उन्हें प्रारंभिक मुठभेड़ स्थल से लगभग 30 किलोमीटर दूर जाखोले के पास देखा गया होगा.
दिनभर चला मुठभेड़
अधिकारियों ने बताया कि जब एक एसडीपीओ के नेतृत्व में पुलिस दल गुप्त सूचना मिलने के बाद वहां पहुंचा तो आतंकवादी जंगली क्षेत्र से गुजर रहे थे. उन्होंने बताया कि इस दौरान भारी गोलीबारी हुई, जिसके परिणामस्वरूप मुठभेड़ शुरू हो गई. पुलिस, सेना और सीआरपीएफ के अतिरिक्त बलों को तुरंत क्षेत्र में तैनात किया गया. कठुआ जिले का सुफैन गांव गोलियों, ग्रेनेड और रॉकेट फायर की लगातार आवाजों से थर्रा उठा. पूरे दिन भीषण मुठभेड़ हुई और कई शक्तिशाली विस्फोट भी हुए.
बॉर्डर के पास चलाया था तलाशी अभियान
इससे पहले, रविवार शाम को पाकिस्तान से लगी अंतरराष्ट्रीय सीमा के पास सान्याल गांव में आतंकवादियों के एक समूह को रोका गया था. इसके बाद पुलिस, सेना, एनएसजी, बीएसएफ और सीआरपीएफ की मदद से बड़े पैमाने पर तलाशी अभियान चलाया गया, जिसमें हेलीकॉप्टर, यूएवी, ड्रोन, बुलेटप्रूफ वाहन और खोजी कुत्तों सहित उन्नत तकनीकी और निगरानी उपकरणों का इस्तेमाल किया गया.
तलाशी दलों को हीरानगर में मुठभेड़ स्थल के पास एम-4 कार्बाइन की चार मैगजीन, दो ग्रेनेड, एक बुलेटप्रूफ जैकेट, स्लीपिंग बैग, ट्रैकसूट, खाने-पीने के कई पैकेट और इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस बनाने के लिए सामग्री से भरे अलग-अलग पॉलीथीन बैग मिले. पुलिस का मानना है कि आतंकवादियों ने शनिवार को सीमा पार से घुसपैठ की. अधिकारियों ने बताया कि पुलिस महानिदेशक नलिन प्रभात और जम्मू क्षेत्र के पुलिस महानिरीक्षक भीम सेन टूटी पिछले चार दिन से कठुआ से आतंकवाद रोधी अभियान की निगरानी कर रहे हैं.
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