Japan China Relations: क्यों किया जा रहा जयशंकर को याद, जब जापान के पीएम किशिदा ने चीनी राजदूत की विदाई बैठक में जाने से किया इनकार
Japan PM Fumio Kishida: जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा ने चीन के राजदूत से मिलने से इनकार कर दिया. ऐसे में विदेश मंत्री जयशंकर को याद किया जा रहा है.
Japan China Conflict: जापान और चीन के बीच की तल्खी एक बार फिर सामने आई है. प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा ने फरवरी के आखिरी में चीन के राजदूत कोंग जुआनयू के साथ होने वाली विदाई बैठक में जाने से इनकार कर दिया. इस मामले की जानकारी क्योडो न्यूज के जरिए से सामने आई है. जापान के इस कदम से पता चलता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने तनावपूर्ण हैं.
कोंग ने जनवरी के महीने में जापानी सरकार से व्यक्तिगत रूप से विदाई बैठक में शामिल होने का अनुरोध किया था. सूत्रों के मुताबिक, जापान के पीएम के बजाय विदेश मंत्री योशिमासा हयाशी इस बैठक में शामिल हुए लेकिन सरकार ने इस बैठक को सार्वजनिक नहीं किया. जबकि परंपरा ये रही है कि जब राजदूत कार्यकाल पूरा करके अपने देश लौटता है तो पीएम के साथ उनकी मीटिंग होती है.
क्यों याद आए जयशंकर?
जापान के अंदर जो भी घटनाक्रम हुआ ऐसे में भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर को याद किया जा रहा है. उनके एक बयान के जरिए उन्हें याद किया जा रहा है. हाल ही में एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा था, “आप शांति और स्थिरता को कम नहीं कर सकते. न ही आप ये कह सकते है कि बाकी रिश्ते को सामान्य होने दें. आप सीमा पर हिंसा और देश के अंदर इलाकों में कारोबार नहीं कर सकते.” हाल ही में जापान के पीएम फुमियो किशिदा ने भारत का दौरा किया था और उसके बाद ये खबर सामने आई है.
जापान सरकार के एक अधिकारी की तरफ से बताया गया है कि प्रधानमंत्री और राजदूत समान नहीं हैं. राजनयिक प्रोटोकॉल के मामले में कोई समस्या नहीं है. जब चीन में पूर्व जापानी राजदूत ने अपना पद छोड़ा, तो वह भी चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग और बाकी टॉप ऑफिशियल से नहीं मिल पाए थे. ऐसे में जो फैसला लिया गया वह पारस्परिक दृष्टिकोण से जुड़ा था.