JNU Violence: अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) और जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) में सुरक्षा कर्मचारियों के बीच सोमवार दोपहर को हिंसा हुई जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. एबीवीपी के अनुसार वो शांतिपूर्वक फाइनेंस डिपार्टमेंट में फैलोशिप की मांग को लेकर गए थे लेकिन उन्हे ऐसा करने से रोका गया. एबीवीपी के JNU अध्यक्ष रोहित कुमार ने कहा. 'एक साल से JNU के छात्र फेलोशिप को लेकर परेशान हैं. दो दिन पहले भी रेक्टर से मुलाकात हुई थी. आज 11 बजे फिर मिलने के लिए बुलाया गया था. जब सभी छात्र वहां पहुंचे तो रेक्टर के कहने पर गार्ड्स ने छात्रों के साथ मारपीट की'


डीसीपी साउथ वेस्ट (DCP South West) के आधिकारिक बयान के अनुसार जेएनयू के कुछ स्टूडेंट्स, छात्रवृत्ति की मांग कर रहे जो कि पिछले 2 सालों से जेएनयू प्रशासन द्वारा नहींं दी गई है. छात्रों के संबंधित डिपार्टमेंट में विरोध प्रदर्शन करने के दौरान जेएनयू सुरक्षा के गार्ड आए और प्रदर्शनकारी छात्रों को हटाने की कोशिश की गई तो छात्रों और ड्यूटी पर मौजूद गार्ड के बीच हाथापाई हो गई. लेकिन इसको अभी तक कोई शिकायत नहींं की गई है. इस पूरे मामले पर फिलहाल हिंसा के आरोपी सुरक्षा गार्ड्स की तरफ से कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है.


ABVP जेएनयू अध्यक्ष का क्या कहना है?
एबीवीपी जेएनयू अध्यक्ष रोहित कुमार गार्ड्स द्वारा हिंसा किए जाने का आरोप लगाते हुए कहते कि वो इस मामले में गार्ड के खिलाफ शिकायत जल्द करेंगे. रोहित ने कहा, 'हमारी जेएनयू स्टाफ से लड़ाई नहींं. स्कॉलरशिप लेने वाले छात्रों के लिए केंद्र सरकार पैसा भेज चुकी है.  56 करोड़ रुपये अलॉट हो चुके फिर भी पिछले 6 महीने से फेलोशिप नहींं मिली. हम लोगों ने आज प्रदर्शन नहींं किया. हमारी बस इतनी मांग थी कि हमें लिख कर दिया जाए कि छात्रवृत्ति कब तक दी जाएगी. हमें निकालने के लिए 100 से ज्यादा सिक्योरिटी गार्ड भेजे गए. श्रीदेवी, शांभवी को पुरुष गार्ड्स ने मारा.  एक भी स्टाफ को हमने नहींं छुआ.'


JNUSU अध्यक्ष आयशी घोष और लेफ्ट ने क्या कहा?
जवाहरलाल नेहरू छात्र संघ (JNUSU) की अध्यक्ष  आयशी घोष द्वारा जारी बयान में बीजेपी के छात्र संगठन ABVP पर कैंपस में गुंडागर्दी करने का आरोप लगाते हुए दो वीडियो भी जारी किए हैं, आयशी लिखती हैं 'एबीवीपी जो कर सकती है, कर रही है. आज स्कॉलरशिप सेक्शन में गार्डों की पिटाई की गई और दस्तावेजों को फाड़ा गया! जेएनयू प्रशासन ने वर्षों से छात्रों के आंदोलन को तोड़ने के लिए इन गुंडों को अपने फायदे के लिए बनाया है. अब ये गुंडे कानून-व्यवस्था को अपने हाथ में लेने और गुंडागर्दी करने के लिए तोड़फोड़ करने लगे हैं.' इस पर एबीवीपी अध्यक्ष रोहित कुमार आयशी के बयान को खारिज करते हुए कहा कि 'मैं उन्हें JNUSU की अध्यक्ष नहींं मानता क्योंकि वो यहां रिकॉग्नाइज्ड नहींं और दूसरा तीन साल से चुनाव भी नहीं हुए.'






 JNU के लेफ्ट संगठन का दावा है कि ABVP द्वारा जेएनयू सुरक्षाकर्मियों और जेएनयू स्टाफ पर हमला किया गया. JNU छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष रहे एन साई बालाजी का ट्वीट किया कि 'पहला वीडियो आप देख सकते हैं कि कैसे एबीवीपी छात्रों के फेलोशिप फॉर्म को फेंक रहे हैं.' बता दें कि इस पूरे मामले पर फिलहाल हिंसा के आरोपी सुरक्षा गार्ड्स की तरफ से आधिकारिक बयान जारी नहींं किया गया है.






एबीवीपी कार्यकर्ताओं और जेएनयू के छात्रों ने क्या कहा?
जेएनयू कैंपस में हुई मारपीट की वीडियो सामने आने के बाद एबीपी न्यूज ने मौके पर मौजूद रहे एबीवीपी कार्यकर्ताओं और जेएनयू के छात्रों से बात की. छात्र अभिषेक बताते हैं कि जब हम फेलोशिप मांगने गए तो बोला गया कि अभी फेलोशिप नहींं मिलेगी. जब हम चले जाएंगे तब मिलेगी क्या फेलोशिप ? हमारा कोर्स खत्म हो जाएगा. फेलोशिप मेरा अधिकार है. जिसके लिए दिन रात पढ़ कर हम यहां आए हैं. उन गार्ड पर खून सवार था रक्षक ही बना भक्षक. मुझे अंदरूनी चोट आई है. 30 से ज्यादा छात्र घायल हुए हैं. छात्र उमेश चंद्रा कहते हैं कि हम फेलोशिप की मांग करीब एक साल से कर रहे हैं, कुछ को एक साल से तो कई को छह महीने से फेलोशिप नहींं मिली. गार्ड्स ने ना ही छात्राओं की परवाह की और ना ही दिव्यांग की वो सबको मार रहे थे.


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