न्यायपालिका और सरकार के बीच तनातनी
जोसफ के नियुक्ति को लेकर सरकार और सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम पहले भी आमने-सामने आ चुके हैं. उनका नाम जनवरी में इंदु मल्होत्रा के साथ सरकार को भेजा गया था. सरकार ने इंदु मल्होत्रा को जज बनाया, लेकिन जोसफ का नाम कॉलेजियम को लौटा दिया. सरकार की दलील थी कि कई हाई कोर्ट के जजों का प्रतिनिधित्व सुप्रीम कोर्ट में नहीं है. वरिष्ठता के लिहाज से भी के एम जोसफ कई हाई कोर्ट जजों से पीछे हैं.
दोबारा भेजा नाम
16 जुलाई को कॉलेजियम ने उनका नाम दोबारा सरकार के पास भेजा. लेकिन क्षेत्रीय प्रतिनिधित्व और वरिष्ठता की दलील को मानते हुए इंदिरा बनर्जी और विनीत सरन के नाम की भी सिफारिश की. हाई कोर्ट जज बनने की तारीख के हिसाब से दोनों जोसफ से वरिष्ठ हैं. इंदिरा बनर्जी मूल रूप से कलकत्ता हाई कोर्ट से हैं. कलकत्ता हाई कोर्ट का कोई जज इन दिनों सुप्रीम कोर्ट में नहीं है.
जस्टिस जोसफ मामला: ऐसे समझें- सुप्रीम कोर्ट जजों की वरिष्ठता का विवाद
सरकार ने वरिष्ठता तय की
3 जजों का नाम भेजते वक्त कॉलेजियम ने वरिष्ठता के क्रम पर कुछ नहीं कहा. सरकार ने हाई कोर्ट जज बनने की तारीख के आधार पर वरिष्ठता का क्रम तय कर दिया. इस हिसाब से इंदिरा बनर्जी सबसे पहले आईं. फिर विनीत सरन और के एम जोसफ.
जजों ने चीफ जस्टिस के सामने रखा मसला
आज सुबह कुछ जजों ने चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा से मामले पर चर्चा की. जजों ने चिंता जताई कि जिस तरह से नोटिफिकेशन जारी किया गया, वो जजों की वरिष्ठता सरकार की तरफ से तय किये जाने जैसा है. चीफ जस्टिस ने उन्हें आश्वासन दिया कि वो सुप्रीम कोर्ट के दूसरे वरिष्ठतम जज रंजन गोगोई और एटॉर्नी जनरल के के वेणुगोपाल से इस मसले पर चर्चा करेंगे.
नहीं हैं स्पष्ट नियम
सुप्रीम कोर्ट में जजों की नियुक्ति को लेकर स्पष्ट नियम नहीं है. कॉलेजियम वरिष्ठता और योग्यता को आधार बनाता है. लेकिन वरिष्ठता को दरकिनार कर जज बनाते वक्त कभी ये सार्वजनिक नहीं करता कि किन नामों पर चर्चा हुई और जिसे योग्य माना, उसके पीछे क्या वजह थी.
बदलाव की उम्मीद कम
सुप्रीम कोर्ट मंगलवार को होने वाले शपथ ग्रहण समारोह का सर्क्युलर जारी कर चुका है. इसमें भी इंदिरा बनर्जी का नाम पहले है, उनके बाद विनीत सरन और के एम जोसफ का. यानी एक तरह से सुप्रीम कोर्ट ने सरकार की तरफ से भेजे गए वरिष्ठता क्रम को स्वीकार कर लिया है. एक बार सर्क्युलर जारी होने के बाद इसमें बदलाव की संभावना बहुत कम है.
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