कोरोना संक्रमण रोकने के लिए किए जा रहे उपायों में कर्नाटक ने दक्षिण भारतीय राज्यों को मात दे दिया है. उसने कोविड-19 के खिलाफ सबसे बड़ी संख्या में लोगों का टीकाकरण पूरा करवाया है. 4.9 करोड़ की टारगेटेड आबादी में 1.6 करोड़ (32 फीसद) लोगों ने वैक्सीन की दोनों डोज लगवा ली है. ये खुलासा सोमवार की सुबह कोविन डैशबोर्ड के डेटा से हुआ.


पूरा टीकाकरण के मामले में कर्नाटक ने दक्षिण राज्यों को दी मात 


डेटा के मुताबिक पूरी तरह टीकाकरण करा चुके लोगों के संदर्भ में कर्नाटक पांचवें पायदान पर है. देश में कर्नाटक से आगे महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, गुजरात और पश्चिम बंगाल जैसे सूबे हैं. महाराष्ट्र में दोनों वैक्सीन के डोज लगवानेवालों की संख्या 2.2 करोड़, उत्तर प्रदेश में 1.8 करोड़, गुजरात में 1.8 करोड़ और पश्चिम बंगाल में 1.6 करोड़ है. अनुपात के संदर्भ में गुजरात की भूमिका (37 फीसद) कर्नाटक से बेहतर है, जबकि महाराष्ट्र (24 फीसद), पश्चिम बंगाल (23 फीसद) और उत्तर प्रदेश 12 (फीसद) कतार में नीचे हैं. दक्षिण राज्यों में टीकाकरण पूरा करनवाले लोगों के आंकड़ों पर गौर किया जाए तो पता चलता है कि आंध्र प्रदेश में करीब 1.3 करोड़ लोग वैक्सीन के दोनों डोज ले चुके हैं, तमिलनाडु में 1.1 करोड़ और केरल में एक करोड़ लोगों ने टीकाकरण पूरा करवाया है.


4.9 करोड़ में से 1.6 करोड़ लोगों ने वैक्सीन के लगवाए दोनों डोज


तेलंगाना में 67.4 लाख लोगों को कोविड-19 वैक्सीन के दोनों डोज से सुरक्षित किया गया है. नेशनल हेल्थ मिशन, कर्नाटक के मिशन डायरेक्ट्र अरुंधति चंद्रशेखर ने कहा, "हमें अभी भी कर्नाटक में दूसरे डोज के साथ लक्षित आबादी के 67 फीसद को कवर करना है. सूबे में अब फोकस दूसरे डोज के लिए बाकी लोगों को कवर करने पर है और इस सिलसिले में मुफ्त टीकाकरण की सुविधा का लाभ उठाने के लिए मैसेज भेजे रहे हैं. हम खास अभियान चलाने का मंसूबा बना रहे हैं और टीकाकरण में पिछड़े जिलों पर ध्यान दे रहे हैं." स्वास्थ्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों ने बताया कि तीसरी लहर की गंभीरता को कम करने के लिए दोनों डोज के साथ ज्यादा से ज्यादा लोगों का पूरी तरह टीकाकरण कराया जाना चाहिए. 


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