कर्नाटक राज्य ब्राह्मण विकास बोर्ड ने ब्राह्मण समुदाय की गरीब लड़कियों की शादी के लिए दो योजना लॉन्च की है. अरुंधति और मैत्रेयी नाम से शुरू की जानेवाली योजनाओं में वधुओं की आर्थिक मदद की जाएगी. अरुंधति योजना के तहत दुल्हन के परिवार को शादी के लिए 25 हजार रुपए दिए जाएंगे. पुजारी, पुरोहित और अर्चक से शादी करने पर दुल्हन को 3 लाख रुपए का बॉन्ड मिलेगा. अरुंधति योजना के लिए गरीब परिवारों की 550 दुल्हनों को चयनित किया गया है जबकि मैत्रेयी योजना के तहत शुरू में 25 गरीब परिवारों की मदद करने का प्रस्ताव शामिल है.
ब्राह्मण समुदाय की गरीब लड़कियों की शादी के लिए दो योजनाएं लॉन्च
बोर्ड के डायरेक्टर एच एस सचिदानंद मूर्ति ने बताया कि योजनाओं का लाभ लेनेवालों को कुछ शर्तों का पालन करना होगा. उनके मुताबिक, परिवार को आर्थिक रूप से पिछड़ा वर्ग का सर्टिफिकेट पेश करना होगा और उनका संबंध ब्राह्मण समुदाय से होना चाहिए. योजना का लाभ लेने के लिए ब्राह्मण होने के साथ दुल्हन की पहली शादी भी अन्य शर्तों में शामिल है. डायरेक्टर ने स्पष्ट किया कि शादीशुदा जोड़े को खास समय तक साथ रहने का शपथ पत्र पेश करना होगा. जोड़ा बोर्ड की वेबसाइट पर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करा सकता है.
ये पूछे जाने पर कि योजना लॉन्च करने की क्या वजह बनी? सचिदानंद ने कहा, "हम आर्थिक रूप से पिछड़े गरीब लोगों का कल्याण चाहते हैं, खासकर पुजारियों का. काम की अनिश्चितता के चलते उनकी जिंदगी बहुत दुश्वार हो गई है. आर्थिक रूप से पिछड़ा वर्ग राशि का इस्तेमाल कर अपनी जीविका कमाने के लिए छोटा कारोबार शुरू कर सकता है."
विपक्ष ने कर्नाटक राज्य ब्राह्मण विकास बोर्ड की पहल पर उठाया सवाल
बोर्ड की कल्याणकारी योजना पर विपक्ष ने सवाल उठाते हुए आपत्ति जताई है. उसने पहल को पीछे की ओर धकेलनेवाला और स्वभाव में महिला विरोधी बताया है. सरकार पर निशाना साधते हुए कांग्रेस के युवा विंग से जुड़े वाईबी श्रीवास्तव ने कहा, "ब्राह्यण विकास बोर्ड क्यों महिलाओं की जिंदगी के एक क्षेत्र सिर्फ शादी के बारे में सोचता है? बोर्ड ब्राह्रण समुदाय की महिला उद्यमियों को कर्ज क्यों नहीं दे सकता? गरीब ब्राह्यण की लड़कियों की शिक्षा के लिए फंड का क्यों नहीं प्रावधान किया गया?"
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