नई दिल्ली: कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंगलवार को कहा कि जम्मू और कश्मीर के लोगों को 'जानबूझकर' अलग-थलग किया जा रहा है और उनके साथ शत्रुतापूर्ण रवैया अपनाया जा रहा है, क्योंकि संकटग्रस्त कश्मीर बीजेपी सरकार की 'घोर नाकामी' को दर्शाता है.


सोनिया गांधी ने कहा कि सरकार के 'विभाजनकारी एजेंडे' ने जम्मू-कश्मीर में सौहार्द्र और प्रगति के लिए किए गए सालों के कार्यों पर पानी फेर दिया, जिसके कारण कश्मीर घाटी में आतंकवादी हिंसा और रोजाना पत्थरबाजी की वारदातें बढ़ी हैं.


सीमा पार बढ़ गई हैं आतंकवादी गतिविधियां


राष्ट्रीय राजधानी में कांग्रेस कार्यकारिणी की बैठक के दौरान सोनिया ने कहा, "जम्मू और कश्मीर का संकट इस सरकार की घोर नाकामी को दर्शाता है. सीमा पार आतंकवादी गतिविधियां बढ़ गई हैं."


कांग्रेस अध्यक्ष ने राज्य तथा केंद्र सरकार पर कश्मीर के हालात से 'असंवेदनशील तरीके से निपटने' का आरोप लगाया, जो व्यवस्थित तरीके से लोगों खासकर युवाओं को अलग-थलग कर रही है और स्थानीय आबादी से शत्रुतापूर्वक पेश आ रही है. उन्होंने कहा, "भारी संख्या में सुरक्षाबल के जवान तथा नागरिकों की जानें गईं और वे घायल हुए. युवा अंधे हो गए."


कश्मीर के हालात पर नजर


सोनिया ने कहा, "संकट का समाधान सरकार के लिए अनिवार्य है और वह दोषपूर्ण दृष्टिकोण को सुधारे और लोगों का विश्वास जीतने और हालात सामान्य करने के लिए काम करे." कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि कश्मीर के हालात पर नजर रखने के लिए पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के नेतृत्व में कांग्रेस नेताओं का एक छोटा-सा दल गठित किया गया है.