Kasturba Gandhi Birth Anniversary: कस्तूरबा गांधी का जन्म 11 अप्रैल 1869 को पोरबंदर में हुआ था. एक धनी परिवार में जन्म लेने वाली कस्तूरबा गांधी (Kasturba Gandhi) का बचपन का नाम कस्तूर कपाड़िया था. उनके पिता पोरबंदर के पूर्व मेयर गोकुलदास मकनजी कपाड़िया एक सम्मानित व्यापारी थे. वे विदेशों में कपड़े, अनाज और कॉटन का व्यापार करते थे और समुद्र में उनके जहाज चलते थे. कस्तूरबा चार भाईयों की इकलौती बहन थीं. सिर्फ 13 साल की उम्र में उनकी शादी गांधी जी (Mahatma Gandhi) से हो गई. वे महात्मा गांधी से 6 महीने बड़ी थीं.
कस्तूरबा ज्यादा पढ़ी-लिखी नहीं थी इसलिए शादी के बाद गांधी जी ने उन्हें पढ़ाने का फैसला लिया लेकिन कस्तूरबा का सारा ध्यान अपने पति की सेवा में लगा रहा. कस्तूरबा गांधी का नाम आज भी एक अच्छी जीवन संगीनी का उदाहरण देने के लिए लिया जाता है. वह हर कदम पर परछाई की तरह गांधी जी के साथ रहीं. यहां तक कि जब गांधी जी अफ्रीका गए तो कस्तूरबा भी साए की तरह उनके साथ चल दीं. शादी के बाद पहले वे महात्मा गांधी की अच्छी दोस्त बनीं और साथ ही एक सर्वश्रेष्ठ पत्नी का धर्म भी निभाया. जिस तरह गांधी जी को दुनिया बापू कहती है उसी तरह कस्तूरबा को 'बा' कहकर बुलाया जाता है.
काम को लेकर होता था बापू से झगड़ा
कस्तूरबा मन से चंचल, स्वभाव से समझदार और एक पति व्रता पत्नी थीं. कहा जाता है कि गांधी जी उनपर काफी जोर चलाते थे, जिसकी वजह से कस्तूरबा और गांधी जी के बीच बहुत झगड़े भी होते थे लेकिन धीरे-धीरे कस्तूरबा ने उनके इस रवैये को भी अपना लिया. कस्तूरबा और गांधी जी को लेकर एक किस्सा मशहूर है. कहा जाता है कि जब गांधी जी अफ्रीका में थे और कस्तूरबा वहां उनके साथ रहती थीं तो उस समय उन्हें घर का सारा काम खुद करना पड़ता था. उस समय बापू के घर पर मेहमानों का आना-जाना लगा रहता था. चार भाइयों की इकलौती बहन होने की वजह से 'बा' बड़े लाड-प्यार में पली थीं, ऐसे में शादी के बाद घर का इतना सारा काम और मेहमानों की आव-भगत करना उनके लिए काफी मुश्किल था.
इसे लेकर कस्तूरबा और बापू के बीच काफी झगड़े होते थे. यह झगड़ा इतना बढ़ गया था कि गांधी जी ने उन्हें घर से निकालने का फैसला ले लिया था. एक बार गांधी जी ने कस्तूरबा से एक मेहमान का टॉयलेट साफ करने के लिए कहा. कस्तूरबा ऐसा करने के लिए तैयार नहीं थीं. फिर क्या था, दोनों पति-पत्नी के बीच जमकर लड़ाई हुई. लेकिन जब बाद में महात्मा गांधी खुद टॉयलेट साफ करने लगे तो 'बा' को शर्मिंदगी महसूस हुई.
तीन महीने के लिए जेल गई थी कस्तूरबा
महात्मा गांधी की पत्नी होने के अलावा कस्तूरबा गांधी की अपनी भी एक पहचान थी. वो एक समाज सेविका थीं. उन्होंने दक्षिण अफ्रीका में अमानवीय हालात में भारतीयों को काम कराने के विरुद्ध आवाज उठाई. इसकी वजह से कस्तूरबा को तीन महीने के लिए जेल भी जाना पड़ा. कस्तूरबा एक कड़क स्वभाव और अनुशासन प्रिय व्यक्तित्व थीं.
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