Kerala: 'महिला के यौन उत्तेजक पोशाक पहनने पर प्रथम दृष्टया यौन उत्पीड़न का आरोप मान्य नहीं'- अदालत ने कहा
Kerala District Sessions Court: केरल की कोझीकोड (Kozhikode) की एक जिला सत्र अदालत ने यौन उत्पीड़न (Sexual Harassment) के एक मामले में लेखक और सामाजिक कार्यकर्ता सिविक चंद्रन को अग्रिम जमानत दे दी है.
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District Sessions Court Kozhikode: केरल की एक अदालत का कहना है कि महिला के यौन उत्तेजक कपड़े पहनने से यौन उत्पीड़न (Sexual Harassment) का आरोप प्रथम दृष्टया (Prima Facie) सही नहीं माना जाएगा. कोझीकोड की जिला सत्र अदालत (District Sessions Court Kozhikode) ने एक यौन उत्पीड़न मामले में लेखक और सामाजिक कार्यकर्ता सिविक चंद्रन (Civic Chandran) को अग्रिम जमानत (Anticipatory Bail) देते हुए यह टिप्पणी की है.
उत्तेजक कपड़े पहनने पर नहीं बनता यौन उत्पीड़न का मामला
यौन उत्पीड़न मामले में लेखक और सामाजिक कार्यकर्ता सिविक चंद्रन को अग्रिम जमानत देते हुए कोझीकोड की एक जिला सत्र अदालत ने साफ कहा कि उत्तेजक कपड़े पहनने पर यौन उत्पीड़न का मामला नहीं बनता है. कोर्ट ने इसके लिए को भारतीय दंड संहिता (Indian Penal Code) की धारा 354-(ए) (354 -A) यौन उत्पीड़न (Sexual harassment) का हवाला दिया है. कोर्ट का कहना है कि धारा 354 (ए) के तहत यौन उत्तेजक कपड़े पहनने की स्थिति में प्रथम दृष्टया अपराध नहीं माना जाएगा.
शिकायतकर्ता महिला की फोटो कोर्ट में की गईं पेश
चंद्रन ने जमानत याचिका (Bail Plea) के साथ शिकायतकर्ता महिला की तस्वीरें अदालत में पेश की थीं. इस मामले में अदालत ने चंद्रन को 12 अगस्त को अग्रिम जमानत दी थी. इससे पहले 2 अगस्त को भी उसके खिलाफ दायर एक अन्य यौन उत्पीड़न मामले में उसे अग्रिम जमानत मिली थी. महिला की तस्वीरों का जिक्र करते हुए, अदालत ने कहा, “इससे पता चलता है कि दरअसल शिकायतकर्ता खुद ऐसे कपड़े पहने हैं, जो यौन उत्तेजक (Sexual Provocative) हैं. इसलिए, धारा 354 ए ( 354 A) प्रथम दृष्टया आरोपी के खिलाफ नहीं जाएगी.
अदालत ने कहा कि धारा 354 ( Section 354) के शब्दों से यह बहुत स्पष्ट है कि आरोपी की ओर से एक महिला का शील भंग करने का इरादा (Outraging The Modesty Of A Woman) होना चाहिए. कोर्ट के मुताबिक इस धारा के तहत आरोपी के खिलाफ होने वाली कार्रवाई के लिए शारीरिक संपर्क, अवांछित और सीधे तौर पर दिया गया यौन प्रस्ताव, यौन संबंध बनाने का अनुरोध या मांग करना और सेक्सुएल रिमार्क का होना जरूरी है.
चंद्रन (Chandran) ने आरोप लगाया था कि महिला ने उनके खिलाफ झूठी शिकायत की थी. इस साल अप्रैल में हुई इस घटना का जिक्र करते हुए चंद्रन ने कहा कि शिकायतकर्ता (Complainant) महिला अपने प्रेमी के साथ आई थी और इस दौरान कई अन्य लोग भी मौजूद थे. चंद्रन का कहना है अन्य किसी ने भी उनके खिलाफ ऐसी कोई शिकायत नहीं की थी.
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