(Source: Poll of Polls)
केरल में कम हो रहा है बाढ़ का पानी लेकिन बीमारियों का खतरा बढ़ा, चिकनपॉक्स की मिली शिकायत
केरल हेल्थ डिपार्टमेंट में डिजास्टर मैनेजमेंट का काम देखने वाले अनिल वासुदेवन ने कहा कि प्रदूषित जल और वायु से होने वाली बीमारियों की आशंकाओं को देखते हुए तैयारी की गई है. केरल में भारी बारिश और बाढ़ के बाद करीब दो लाख लोग राहत शिविर में रह रहे हैं.
तिरुवंतपुरम: 100 साल के सबसे बड़े बाढ़ को झेल रहे केरल में राहत की खबर है. सभी 14 जिलों से रेड अलर्ट को हटा लिया गया है यानि अब खतरा कम है. कई इलाकों में बाढ़ का पानी कम हो रहा है. हालांकि जगह-जगह जलजमाव और गंदगी की वजह से बीमारियों का खतरा बढ़ने लगा है. तीन लोगों ने अलुवा इलाके में चेचक (चिकनपॉक्स) की शिकायत की है. जिसके बाद उन्हें राहत शिविर कैंप से हटा कर दूसरी जगह शिफ्ट कर दिया गया है. चिकनपॉक्स एक दूसरे में फैलने वाली बीमारी है.
न्यूज एजेंसी रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, केरल हेल्थ डिपार्टमेंट में डिजास्टर मैनेजमेंट का काम देखने वाले अनिल वासुदेवन ने कहा कि प्रदूषित जल और वायु से होने वाली बीमारियों की आशंकाओं को देखते हुए तैयारी की गई है. केरल में भारी बारिश और बाढ़ के बाद करीब दो लाख लोग राहत शिविर में रह रहे हैं. सरकार का दावा है कि राहत शिविरों में खाने-पीने, दवाई और अन्य जरूरी सामानों की कोई कमी नहीं है.
Glimpse of #KeralaFloodRelief efforts on-ground:
At Chengannur in Pathanamthita, a mother and infant were stranded on the first floor of a damaged building. They were safely evacuated and shifted to relief camp by the @IndiaCoastGuard @nsitharaman pic.twitter.com/F7Mx68QMYO — Raksha Mantri (@DefenceMinIndia) August 19, 2018
केरल में लगातार दो हफ्ते से मूसलाधार बारिश हो रही थी. जिसके बाद बाढ़ में 357 लोगों की मौत हो चुकी है. मुख्यमंत्री ने कहा कि सड़कों के बह जाने से कई इलाकों से संपर्क टूट गया है. जिसकी वजह से ट्रांसपोर्ट की समस्या खड़ी हो गई है. लेकिन हम हर जगह पहुंचने की कीशिश कर रहे हैं. अंतिम व्यक्ति को जबतक नहीं बचाया जाएगा तब तक हमारी कोशिश जारी रहेगी. उन्होंने कहा, ''केंद्र सरकार और आम लोग की मदद से हम आपदा से लड़ रहे हैं.''
Attention:Efforts are in progress to save even the last person stranded. Many of the requests coming to helpline numbers are for people who are already rescued. Sending erroneous information can only delay rescue efforts. Kindly forward only messages that are valid #KeralaFloods
— CMO Kerala (@CMOKerala) August 19, 2018
आपको बता दें कि एनडीआरएफ, तीनों सेना के जवानों का राहत और बचाव कार्य जारी है. रिपोर्ट्स की मानें तो केरल में राहत-बचाव कार्य के लिए एनडीआरएफ अब तक का सबसे बड़ा अभियान चला रही है. बड़ी संख्या में लोग अभी भी अपने घरों में फंसे हुए हैं और उन्हें भोजन, पानी और सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाए जाने का इंतजार है. सेना एयरलिफ्ट कर लोगों को निकाल रही है और खाने-पीने का सामना हेलीकॉप्टर से पहुंचा रही है.
Glimpses of #NDRF operations in Kerala today pic.twitter.com/hPWw0H56FP
— NDRF (@NDRFHQ) August 19, 2018
सेना, एयरफोर्स, नेवी और कोस्ट गार्ड की मदद से करीब 23,213 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया है. 2000 से अधिक लोगों को मेडिकल सुविधाएं दी गई है. सड़क और पुल के बह जाने की वजह से कट चुके 42 इलाकों को जोड़ा गया है. सेना ने 15 अस्थायी ब्रिज बनाए हैं.
#KeralaFloods2018 #OPRAHAT @IndiaCoastGuard Medical Officer & much needed supply of relief materials including medicines, sanitary napkins & baby diapers being rushed to the disaster relief camps of flood hit districts of #Kerala @DefenceMinIndia @CMOKerala @MoHFW_INDIA @DG_PIB pic.twitter.com/mDkKNtdOwM
— Indian Coast Guard (@IndiaCoastGuard) August 19, 2018
हालांकि पहाड़ी इलाकों में भूस्खलन की वजह से ज्यादा दिक्कत है. सड़कों पर पत्थर-पेड़ जगह जगह आ चुका है. ट्रांसपोर्ट बिल्कुल ठप है. बारिश से सर्वाधिक प्रभावित जिलों में अलुवा, चलाकुडी, अलप्पुझा, चेंगन्नूर और पथनामथित्ता जैसे इलाके शामिल हैं, जहां बचाव अभियान तेजी से चलाया जा रहा है और बचाव दलों ने बहुत से लोगों को बचाया है.
एर्नाकुलम जिले में मुख्य रूप से परावुर और अलुवा तालुक में 54,000 से अधिक लोगों को बचाया गया है. कई शहरों में प्राथमिक जरूरतों के सामानों की किल्लत है. त्रिशूर में पेट्रोल लेने के लिए लंबी लाइन देखी गई. वहीं दूध और अन्य जरूरी सामान भी लोगों को मुश्किल से मिल रहा है.
#KeralaFloodRelief #KeralaFloods2018 #OpMadad #INSDeepak reaches Kochi and is disembarking Rations, Fresh water and mineral water at South Jetty Naval Base. @DefenceMinIndia @SpokespersonMoD @nsitharaman pic.twitter.com/2cbr1FUC0R
— SpokespersonNavy (@indiannavy) August 19, 2018
आधिकारियों ने बताया कि वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं और बच्चों सहित बड़ी संख्या में लोगों को इमारतों से एयरलिफ्ट किया गया, जबकि कई अन्य को सेना की नौकाओं, मछली पकड़ने वाले बड़े जहाजों और अस्थायी नौकाओं में बाहर निकाला गया.
‘ऑपरेशन वॉटर बेबी’ केरल में भारी बाढ़ और भूस्खलन से मची तबाही से लोगों को बचाने का कार्य चल रहा है और इस बीच एक नवजात शिशु को बचाने के लिए एक विशेष अभियान चलाए जाने का मामला भी सामने आया है. अभियान का नेतृत्व करने वाले सेना के अधिकारी ने बताया कि मुंबई तटरक्षक ने इडुक्की बांध में पानी का स्तर बढ़ने की जानकारी देने के लिए फोन किया, जिसके बाद उनके दल ने केरल का रुख किया और चार दिन तक राहत एवं बचाव कार्य किया.
#KeralaFloodRelief efforts:
The video shows the @IndiaCoastGuard performing a winching operation in Aluva city after spotting a child waving from a rooftop. The child has been rescued and provided necessary medical care.@nsitharaman pic.twitter.com/LvCjXVoWNu — Raksha Mantri (@DefenceMinIndia) August 18, 2018
इस दौरान स्थानीय लोगों ने बचाव दल को बताया कि एक महिला, उसका नवजात शिशु और उसके परिवार के पांच सदस्य चार दिन से बाढ़ में घिरे घर में फंसे हैं. नवजात शिशु को बचाने के लिए इडुक्की बांध के पास ‘ऑपरेशन वॉटर बेबी’ चलाया गया. लेफ्टिनेंट कर्नल शशिकांत वाघमोड ने बताया कि स्थानीय पुलिसकर्मियों की मदद से बचाव कर्मी उसके मकान तक पहुंचे और बचा लिया.