Kiren Rijiju Offering Chadar In Ajmer Dargah: केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू शनिवार (4 जनवरी 2025) को पीएम नरेंद्र मोदी की भेजी हुई चादर लेकर अजमेर पहुंचे. लगातार चल रहे अजमेर विवाद के बीच किरेन रिजिजू ने प्रधानमंत्री की तरफ से भेजी गई चादर अजमेर शरीफ की दरगाह पर चढ़ाई. ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह में चादर चढ़ाने पहुंचे किरेन रिजिजू ने कहा, अजमेर में उर्स के दौरान गरीब नवाज की दरगाह पर जाना हमारे देश की पुरानी परंपरा है.


'मोदी जी का पैगाम भाईचारा'


किरेन रिजिजू ने कहा कि इस बार उर्स के मौके पर गरीब नवाज के यहां चादर चढ़ाने का मौका मुझे मिला है. प्रधामनमंत्री मोदी जी का पैगाम भाईचारा और पूरा देश एक जुट होकर मिलजुल कर रहने का है. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि देश के एकजुट रहने के संदेश के साथ ही मैं अजमेर दरगाह में जा रहा हूं.


'निजामुद्दीन दरगाह में भी चादर चढ़ाया, दुआ मांगी'


केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा कि कल हम निजामुद्दीन दरगाह में भी गए थे और वहां भी हमने सबके साथ मिलकर चादर चढ़ाया फिर दुआ मांगी. रिजिजू ने कहा कि उर्स के इस शुभ अवसर पर हम सब यह चाहते हैं कि देश में अच्छा माहौल बनें और कोई भी ऐसा काम ना करें जिससे सौहार्द बिगड़े.


अजमेर विवाद पर क्या बोले किरेन रिजिजू?


अजमेर दरगाह के विवाद पर किरेन रिजिजू ने कहा कि हम किसी को कोई जवाब देने या दिखाने के लिए नहीं आएं हैं, बल्कि देश में सभी लोग अच्छे से रहे यही संदेश लेकर हम दरगाह जा रहे हैं.


'सबके लिए गरीब नवाज का दरवाजा खुला'


उन्होंने कहा कि गरीब नवाज के यहां चाहे हिंदू हो, मुसलमान हो, बौद्ध हो, इसाई हो, सिख हो, पारसी हो, जैन हो सब आते हैं. सबके लिए यहां दरवाजा खुला है, सबका यहां स्वागत है. नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री होने के नाते पूरे देश की तरफ से मुझे भेजा है. मैं यहां प्रधानमंत्री के संदेश को पढ़ूंगा.


किरेन रिजिजू ने कहा कि ख्वाजा मोईनूद्दीन चिश्ती के बारे में पूरी दुनिया जानती हैं. लाखों लोग यहां आते हैं. हालांकि यहां आने के लिए लोगों को खास कर महिलाओं और बुजुर्गों को काफी परेशानी होती है. हमारा अल्पसंख्यक मंत्रालय यहां के लिए कुछ नया लॉन्च करेगा.


क्या है विवाद?


हाल ही में हिंदू सेना ने यह मांग करते हुए अदालत में एक याचिका दायर की गई थी कि पीएम मोदी की भेजी हुई चादर अजमेर शरीफ दरगाह पर नहीं चढ़ाई जाए. हिंदू सेना की ओर से दायर याचिका में कहा गया कि इस प्रकरण में 24 जनवरी को सुनवाई होनी है. हिंदू सेना ने इससे पहले कोर्ट में याचिका दायर करते हुए दावा किया था कि अजमेर शरीफ दरगाह शिव मंदिर की जगह पर बना है.


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