किसान आंदोलन का 14वां दिन: आज निकलेगा ट्रैक्टर मार्च, दिल्ली एनसीआर में फिर बन सकती तगड़े जाम की स्थिति, जानिए बड़ी बातें
Farmers Protest 14th Day: एमएसपी समेत अन्य मुद्दों पर विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों के नेताओं की केंद्र सरकार से कई दौर की बातचीत हो चुकी है. अभी भी कुछ बातों पर सहमति नहीं बन पाई है.
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Kisan Andolan 2.0: न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) समेत तमाम मुद्दों को लेकर आंदोलन कर रहे किसान पंजाब-हरियाणा बॉर्डर पर रुके हुए हैं. 29 फरवरी को ये किसान दिल्ली में प्रदर्शन कर सकते हैं. इन सब के बीच खनौरी में चल रहे 'दिल्ली चलो' विरोध प्रदर्शन के दौरान पंजाब के एक किसान को चोटें आईं, जबकि किसान आंदोलन के मद्देनजर निलंबित किए जाने के लगभग दो सप्ताह बाद हरियाणा के सात जिलों में मोबाइल इंटरनेट सेवाएं बहाल कर दी गईं.
आंदोलन से जुड़ी 10 बड़ी बातें
1. भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) टिकैत और बीकेयू लोकशक्ति से जुड़े किसान आज सोमवार (26 फरवरी) दिल्ली तक ट्रैक्टर मार्च निकालने के लिए तैयार हैं.
2. बीकेयू नेता राकेश टिकैत ने कहा, “26 फरवरी को हम दिल्ली की ओर जाने वाले राष्ट्रीय और राज्य राजमार्ग पर एक ट्रैक्टर मार्च निकालेंगे. राजमार्ग का दूसरा किनारा खुला रहेगा ताकि जनता देख सके कि किसान ट्रैक्टरों पर दिल्ली जा रहे हैं. उसी दिन डब्ल्यूटीओ का पुतला जलाया जाएगा.”
3. किसानों के विरोध प्रदर्शन को देखते हुए दिल्ली पुलिस ने सिंघू, गाजीपुर और टिकरी बॉर्डर पर सुरक्षा व्यवस्था तेज कर दी है.
4. संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) ने घोषणा की कि वह 26 फरवरी को 'डब्ल्यूटीओ छोड़ो दिवस' मनाएगा और मांग की कि केंद्र को 26 से 29 फरवरी को अबु धाबी में होने वाले विश्व व्यापार संगठन के 13वें मंत्रिस्तरीय सम्मेलन में कृषि को डब्ल्यूटीओ से बाहर रखने के लिए विकसित देशों पर दबाव डालना चाहिए.
5. शंभू बॉर्डर पर किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा, “आंदोलन के चलते सरकार बैकफुट पर जा रही है. दुनिया में इस आंदोलन की चर्चा हो रही है. पूरे यूरोप में आंदोलन चल रहा है. दुनिया भर में लोगों को बात रखने का अधिकार दिया जाता है. सरकार दबाव में है.“
6. उन्होंने आगे कहा, “आज दोपहर में हम लोग पुतला जलाएंगें. भारत को डब्ल्यूटीओ से बाहर निकाला जाए. कई किसान यूनियन का हमें समर्थन मिल रहा है. कई किसान संगठन हमारे साथ आने वाले हैं. 27 और 28 फरवरी को किसानों का सम्मेलन होगा तो इसमें कई संगठन आएंगे.”
7. पंजाब किसान मजदूर संघर्ष समिति के नेता सरवन सिंह पंढेर ने आगे कहा, “हमने आज दोनों (शंभू और खनौरी) सीमाओं पर अर्थशास्त्रियों को आमंत्रित किया और डब्ल्यूटीओ पर वास्तव में स्वस्थ चर्चा की.
8. भारत सरकार की ओर से लागू की गई खुली मंडियों की अवधारणा सही नहीं थी. मुझे नहीं लगता कि सरकार को सिर्फ कुछ कॉर्पोरेट उद्योगों को खुश करने के लिए भारत की 80 प्रतिशत आबादी को नजरअंदाज करना चाहिए.''
9. इसके अलावा रविवार को दिल्ली पुलिस ने सिंघू और टिकरी सीमाओं पर बैरिकेड्स के एक हिस्से को हटाकर यात्रियों के लिए रास्ता साफ कर दिया.
10. एक पुलिस अधिकारी ने कहा, “हम यात्रियों के लिए पॉइंट-ए से पॉइंट-बी तक बैरियर का एक हिस्सा हटा रहे हैं. पुलिस और अर्धसैनिक बलों की तैनाती से चौबीसों घंटे कड़ी निगरानी सुनिश्चित की जाएगी. फोर्स की तैनाती यथावत रहेगी. फिलहाल वाहनों की आवाजाही की अनुमति नहीं दी जाएगी.”
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