नई दिल्लीः भारत को त्योहार का देश कहा जाता है. ऐसा इसलिए भी कहा जाता है क्योंकि भारत देश में सभी जाति, धर्म और समुदाय के लोग मिल-जुल कर आपस में प्रेम से रहते हैं. शारदीय नवरात्र के बाद अब देश में खास तौर पर उत्तर भारत में कई त्योहार मनाए जाएंगे. जिसमें सबसे खास करवा चौथ, दीपावली और क्रिसमस शामिल हैं.


करवा चौथः करवा चौथ खास तौर पर हिन्दुओं का प्रमुख त्योहार है. करवा चौथ को कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को मनाया जाता है. इस दिन सुहागिन स्त्रियां अपनी पति की लंबी आयू के लिए निर्जला व्रत रहती हैं. यह व्रत शाम को चंद्रमा दर्शन के बाद ही पूर्ण होता है. इस साल 4 नवंबर को बुधवार के दिन करवा चौथ का त्योहार मनाया जाएगा.


धनतेरसः कार्तिक माह की कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि के दिन धनतेरस मनाया जाता है. कहा जाता है कि इस दिन समुद्र-मंन्थन के समय भगवान धन्वन्तरि अमृत कलश लेकर प्रकट हुए थे. इसके साथ ही बता दें कि भारत सरकार ने धनतेरस को राष्ट्रीय आयुर्वेद दिवस के रूप में मनाने का निर्णय लिया है. मान्यता है कि इस दिन हिन्दु धर्म को मानने वाले सोने, चांदी के आभुषण या बर्तन खरीदते हैं. इस साल 13 नवंबर को शुक्रवार के दिन धनतेरस का त्योहार मनाया जाएगा.


दीपावलीः कार्तिक मास की अमावस्या को भारत में दीपावली मनाई जाती है. मान्यता के अनुसार इस दिन भगवान राम अपना चौदह साल का वनवास पूरा करके अयोध्या लौटे थे. इस खुशी में लोग अपने घरों में दिए जलाते हैं और मां लक्ष्मी की पूजा होती है. इस साल 14 नवंबर को शनिवार के दिन दीपावली का त्योहार मनाया जाएगा.


भाई दूजः कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को यम द्वितीया या भाई दूज मनाया जाता है. यह त्योहार भाई के प्रति बहन के स्नेह को अभिव्यक्त करता है. इसके साथ ही बहनें अपने भाई की लंबी आयू की कामना करती हैं. इस साल 16 नवंबर को सोमवार के दिन भाई दूज का त्योहार मनाया जाएगा.


छठ पूजाः कार्तिक माह के शुक्ल पक्ष के षष्ठी को छठ पूजा त्योहार को मनाया जाता है. यह त्योहार उत्तर भारत में काफी प्रचलित है. इसके साथ ही पूर्वी उत्तर प्रदेश और बिहार में ये त्योहार एक संस्कृति बन चुका है. छठ पूजा के दौरान खास तौर पर सूर्य और छठी म‌इया की पूजा होती है. इसमें महिलाएं अपने बच्चों की लंबी आयू के लिए व्रत रहती हैं. इस साल 20 नवंबर को शुक्रवार के दिन छठ पूजा का त्योहार मनाया जाएगा.


क्रिसमसः यह मुख्य रूप से इसाई धर्म का त्योहार है. ईसा मसीह या यीशु के जन्म की खुशी में इस त्योहार को मनाया जाता है. यह त्योहार हर साल 25 दिसंबर के दिन मनाया जाता है.


आने वाले इन सब त्योहारों के लिए बाजार सजे हुए हैं और लोगों की भीड़ भी बाजारों में आ रही है. इसके चलते माना जा रहा है कि कोरोनाकाल की उदासी कुछ दूर होगी और बाजारों में रौनक से लोगों में भी उत्साह आएगा.


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