Mamata Banerjee: मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के नेतृत्व में सोमवार (09 सितंबर) को बंगाल के राज्य सचिवालय में प्रशासनिक समीक्षा बैठक आयोजित हुई. इस बैठक में विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचा परियोजनाओं और नागरिक-केंद्रित सेवाओं की समीक्षा की गई. पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने इस बैठक में कई अहम मुद्दों को उठाया.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा, 'चिकन फ्लू फैल रहा है इसलिए बॉर्डर सील करें, खासतौर पर मिदनापुर, झाड़ग्राम, पुरुलिया में बाहर से सामान न लाएं. दूसरे राज्यों से ये चिकन फ्लू रेल के जरिए भी आ सकता है. रेल हमारे हाथ में नहीं है. मंकीपॉक्स भी कुछ जगहों पर देखा जा रहा है और इस संबंध में एक नोडल ऑफिसर नियुक्त किए जाने की जरुरत है.'
न्यूज चैनलों पर लगाया साजिश रचने का आरोप
प्रशासनिक समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कुछ न्यूज चैनलों पर भी निशाना साधा. हालांकि, उन्होंने न्यूज चैनलों का नाम नहीं लिया. ममता बनर्जी ने कहा, 'कुछ न्यूज चैनल राज्य को जलाने की साजिश रच रहे हैं इस संबंध में एक टास्क फोर्स बनाए जाने की जरुरत है. कुछ चैनल, बंगाल को बदनाम कर रहे हैं.'
डॉक्टरों की हड़ताल पर क्या कहा?
कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में महिला डॉक्टर से हुई दरिंदगी की घटना के खिलाफ हड़ताल कर रहे डॉक्टरों को वापस ड्यूटी पर लौटने वाले सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ के आदेश पर ममता बनर्जी ने खुशी जताई. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा, 'सुप्रीम कोर्ट ने जूनियर डॉक्टरों को काम पर लौटने के लिए कहा है, मैं भी वही कहूंगी. अगर उनका एक प्रतिनिधिमंडल चाहे तो आकर मुझसे मिले, मैं तैयार हूं. चुपचाप मैं दर्द सह रही हूं, पुलिस को रोका है कुछ न करें लेकिन आप काम पर लौटिए. 7 लाख पेशेंट को ऑउटडोर ट्रीटमेंट नहीं मिला, 7 हजार सर्जरी नहीं हुई और 23 लोगों की मौत हो चुकी है. बहुत से डॉक्टर सरकारी अस्पताल में काम नहीं कर रहे लेकिन प्राइवेट अस्पताल में काम कर रहे हैं. हार्ट अटैक, डायलिसिस किसी का इंतजार करता है क्या.'
पुलिस के एक्शन पर कही ये बात
ममता बनर्जी ने सुप्रीम कोर्ट के जूनियर डॉक्टरों को दिए आदेश पर कहा, 'खुश हूं कि पुलिस ने कोई एक्शन नहीं लिया है जबकि दूसरे राज्यों में ऐसा नहीं होता. आप लोगों ने स्वास्थ विभाग को जो डिमांड दीं सब पूरी हुई हैं. आज विरोध प्रदर्शन के लिए पुलिस से कोई परमिशन नहीं ले रहा है.'
ममता बनर्जी ने कहा, 'गृह मंत्रालय से चिट्ठी आई है जिसमें कहा गया की CISF को जगह दो. मैंने कहा कि आरजी कर के पास जो जगह है वहां पर व्यवस्था कर दीजिए. राज्य के हाथ से सत्ता छीनने का केन्द्र सरकार का षड्यंत्र है. अस्पताल में रेस्टरूम बनाने के पीछे कोई मंशा नहीं थी, ये लड़की सेमिनार रूम में सोई थी, रेस्टरूम नहीं था इसलिए काम कराया. कोई कुछ भी कहे लेकिन मैं किसी से संबंधित नहीं हूं. मैंने सभी अस्पतालों में लाइट लगाने और वॉशरूम बनाने का आदेश दिया है.'
पैसे देने के आरोपों पर दिया जवाब
उन्होंने कहा, 'कोलकाता पुलिस को सिर्फ 72 घंटे का समय मिला है, मैंने खुद परिवार से बात की थी, हमारे अधिकारी ने उनके घर जाकर सब सीसीटीवी फुटेज और सबूत दिखाए हैं. घर जाकर माता-पिता को पूरी जानकारी दी गई. पुलिस कमिश्नर साथ थे, सब रिकॉर्ड कराया है. जो लोग आरोप लगा रहे हैं कि मैंने पैसे ऑफर किये थे, मैनें ऐसा कुछ नहीं किया, ये झूठ है, षड्यंत्र है.
प्रदर्शनकारियों पर ममता बोलीं, 'आप लोग रोज रात अगर सड़क पर विरोध करेंगे तो बहुत लोगों को दिक्कत भी होती है, रात को माइक नहीं बजाया जाना चाहिए, फिर भी हमने कुछ नहीं कहा. सीबीआई के हाथ में अब सबकुछ है, सीबीआई से कहूंगी जल्दी न्याय करिये. फास्ट ट्रैक कोर्ट में न्याय जल्दी दीजिये. कुछ लोग जो बंगाल से बाहर गए हैं यहीं का खाकर बड़े होकर गए है, उन्होंने बांग्लादेश को देखकर सोचा चांस ले लें. ये बांग्लादेश नहीं है.'
BJP-CPM पर लगाया ये आरोप
ममता बनर्जी ने बीजेपी शासित राज्यों पर निशाना साधते हुए कहा, 'ओडिशा से खबर आई कि हमारे प्रवासी मजदूरों को वहां मारा गया. बंगाली में बात करने पर मारपीट की गई., भाजपा के राज्य में ये हो रहा है. लेफ्ट ने जो बेकार हाल कर दिया था स्वास्थ्य का, हम उसे ठीक नहीं कर पाए क्योंकि अब भा लेफ्टिस्ट बैठे हैं, हमने नौकरी नहीं ली उन लोगों की. सीपीएम ने मुझे शारीरिक प्रताड़ित किया और बीजेपी बंगाल के लिए पैसे नहीं देकर मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रही है.'
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