RG Kar Case: पश्चिम बंगाल में हुए कोलकाता रेप कांड को लेकर हड़ताल करने वाले डॉक्टर्स मांगों को लेकर फिलहाल अड़े हुए हैं. सोमवार (21 अक्टूबर, 2024) को उन्होंने मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) चीफ ममता बनर्जी को स्पष्ट संकेत दे दिए कि अगर उनकी मांगें नहीं सुनी गईं तो वे बड़े स्तर पर अपने हिसाब से प्रदर्शन कर सकते हैं.  


सोमवार शाम को पांच बजे ममता बनर्जी के साथ हड़ताली डॉक्टर्स की बैठक हुई, जबकि इस मीटिंग से ठीक पहले दिल्ली में जॉइंट आरडीए और वेस्ट बंगाल जूनियर डॉक्टर फ्रंट की प्रेस कॉन्फ्रेंस (पीसी) हुई. दिल्ली के प्रेस क्लब ऑफ इंडिया में पीसी में डॉक्टर्स ने कुल 10 मांगें रखीं और कहा कि इन्हें वे कई दिनों से उठा रहे हैं पर किसी भी मांग पर खासा आश्वासन नहीं मिला है. 



डॉक्टर्स की ओर से कहा गया कि वे उम्मीद कर रहे हैं कि बैठक के बाद सीएम डॉक्टर की सुनेंगी. आशा है कि वह कुछ निष्कर्ष निकालेंगी. अगर सोमवार की मीटिंग के बाद भी कोई निष्कर्ष नहीं निकलता है या फिर लिखित आश्वासन नहीं दिया जाएगा तो फिर देशभर में डॉक्टर अपने तरीके से हड़ताल और प्रदर्शन की तैयारी कर सकते हैं.


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वेस्ट बंगाल जूनियर डॉक्टर फ्रंट की प्रतिनिधि डीआर अमृता भट्टाचार्य ने 'एबीपी न्यूज' को बताया, "हम अच्छी उम्मीद कर रहे हैं. अगर सरकार इसपर खरी न उतरी तो शायद बंगाल में सीनियर जूनियर (प्राइवेट और सरकारी) डॉक्टर हड़ताल करेंगे. हमें दिल्ली की आरडीए की तरफ से भी सपोर्ट मिल रहा है. ऐसे में यह प्रदर्शन बंगाल तक सीमित नहीं रहेगा बल्कि देशभर में फैल जाएगा." 


दिल्ली के लगभग सभी बड़े अस्पतालों के आरडीए रिप्रेजेंटेटिव ने वेस्ट बंगाल जूनियर डॉक्टर फ्रंट को समर्थन देते हुए कहा कि पश्चिम बंगाल में उनके साथी डॉक्टर कई दिनों से हड़ताल कर रहे हैं. वे सिर्फ इंसाफ चाहते हैं. अगर कोई निष्कर्ष नहीं निकला तो उन्हें भी समर्थन करना होगा. हालांकि, वे नहीं चाहते कि किसी भी मरीज को किसी तरह की समस्या हो. वे तो ड्यूटी करना चाहते हैं पर अगर वे मजबूर हुए तो वे जरूर समर्थन में प्रदर्शन करेंगे.


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