(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Kumar Mangalam Birla Step Down: वोडाफोन आइडिया के गैर-कार्यकारी निदेशक पद से हटे कुमार मंगलम बिड़ला
Kumar Mangalam Birla Step Down: वोडाफोन आइडिया के निदेशक मंडल ने गैर-कार्यकारी निदेशक हिमांशु कपानिया को गैर-कार्यकारी चेयरमैन नियुक्त किया है.
Kumar Mangalam Birla Step Down: कुमार मंगलम बिड़ला ने वोडाफोन आइडिया के गैर कार्यकारी निदेशक और गैर कार्यकारी अध्यक्ष का पद छोड़ दिया है. कंपनी ने बुधवार को यह जानकारी दी. वोडाफोन आइडिया लिमिटेड (वीआईएल) ने कहा कि आदित्य बिड़ला समूह की ओर से नामित हिमांशु कपानिया को गैर-कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किया गया है.
ये बदलाव ऐसे समय में आए हैं जब वीआईएल को अपना अस्तित्व बचाए रखने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है. कंपनी ने शेयर बाजारों को दी सूचना में कहा, "वोडाफोन आइडिया के निदेशक मंडल ने आज अपनी बैठक में कुमार मंगलम बिड़ला के गैर कार्यकारी निदेशक और गैर कार्यकारी अध्यक्ष पद छोड़ने के अनुरोध को चार अगस्त, 2021 को कामकाजी घंटों की समाप्ति से स्वीकार कर लिया."
इसके बाद निदेशक मंडल ने "सर्वसम्मति से" हिमांशु कपानिया को कंपनी के गैर कार्यकारी अध्यक्ष के तौर पर चुना जो वर्तमान में एक गैर-कार्यकारी निदेशक हैं. कपानिया के पास दूरसंचार क्षेत्र में काम करने का 25 साल का अनुभव है. उनके पास वैश्विक दूरसंचार कंपनियों में शीर्ष स्तर पर काम करने का भी अनुभव है.
उन्होंने दो साल के लिए ग्लोबल जीएसएमए बोर्ड में भी काम किया है और दो साल के लिए सेलुलर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (सीओएआई) के अध्यक्ष भी रहे हैं. कंपनी ने कहा, "इसके अलावा नामांकन और पारिश्रमिक समिति की सिफारिश के आधार पर, बोर्ड ने चार अगस्त, 2021 से आदित्य बिड़ला समूह के नामित सुशील अग्रवाल को अतिरिक्त निदेशक (गैर कार्यकारी और गैर स्वतंत्र) के रूप में नियुक्त किया है."
इससे पहले, आदित्य बिड़ला समूह के चेयरमैन कुमार मंगलम बिड़ला ने कर्ज के बोझ से दबी वोडाफोन आइडिया लि. (वीआईएल) में अपनी हिस्सेदारी सरकार या किसी ऐसी इकाई को सौंपने की पेशकश की थी जिसे सरकार समझती है कि वह कंपनी का परिचालन जारी रख सकती है. अरबपति उद्योगपति बिड़ला ने जून में कैबिनेट सचिव राजीव गौबा को लिखे पत्र में यह पेशकश की. आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, वीआईएल के ऊपर समायोजित सकल राजस्व (एजीआर) की कुल देनदारी 58,254 करोड़ रुपये है. इसमें से कंपनी 7,854.37 करोड़ रुपये का भुगतान कर चुकी है और उसपर अभी 50,399.63 करोड़ रुपये का बकाया है.
वीआईएल और भारती एयरटेल ने एजीआर को लेकर सरकार की गणना में सुधार के लिए उच्चतम न्यायालय में अपील की थी लेकिन उनकी अपील को खारिज कर दिया गया. बिड़ला की वीआईएल में 27 प्रतिशत हिस्सेदारी है. उन्होंने पत्र में कहा है कि एजीआर देनदारी, स्पेक्ट्रम के भुगतान के लिए पर्याप्त समय की मोहलत तथा इन सबसे जरूरी, सेवाओं की दर न्यूनतम कीमत से ऊपर रखने की व्यवस्था नहीं होने की वजह से निवेशक कंपनी में निवेश के इच्छुक नहीं हैं.
बिड़ला ने यह पत्र 7 जून को लिखा है. उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से जुलाई तक इन तीनों मुद्दों पर तत्काल सक्रिय सहयोग नहीं मिलने की स्थिति में वीआईएल की वित्तीय हालत डूबने कगार पर पहुंच जाएगी, जिसको संभालना मुश्किल होगा. बिड़ला ने कहा, ‘‘वीआईएल से जुड़े 27 करोड़ भारतीयों के प्रति हमारा कर्तव्य है. इसी के मद्देनजर मैं कंपनी में अपनी हिस्सेदारी सरकार या सरकार के कहने पर किसी ऐसी इकाई को सौंपने को तैयार हूं जो कंपनी का परिचालन जारी रखने में समर्थ हो.’’
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