फेम, पैसा और प्रोटेक्शन...इन तीनों का लालच देकर ऑनलाइन हो रही बिश्नोई गैंग में भर्ती, पुलिस ने 18 साल के लड़के को दबोचा तो खुला राज
Lawrence Bishnoi: लॉरेंस बिश्नोई गैंग ने युवाओं को अपने गैंग में शामिल करने के लिए सोशल मीडिया को हथियार बना लिया है. युवाओं को पैसों का लालच भी दिया जा रहा है.
Lawrence Bishnoi Gang: दिल्ली पुलिस ने रोहिणी सेक्टर 23 से एक 18 साल के लड़के को बड़ी मात्रा में हथियारों के साथ गिरफ्तार किया है. इस आरोपी लड़के को लॉरेंस बिश्नोई और काला राणा गैंग में शामिल होने के लिए लालच दिया गया था. हालांकि, पुलिस ने हथियारों के साथ अपनी वफादारी साबित करने पहुंचे आरोपी का क्राइम करियर शुरू होने से पहले ही खत्म कर दिया. आरोपी को सोशल मीडिया के जरिए कॉन्टैक्ट किया गया था और उसे बड़े-बड़े सपने दिखाए गए थे.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, प्रदीप सिंह उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल का रहने वाला है. प्रदीप रोजाना इंस्टाग्राम रील्स पर गैंग्स के सदस्यों को देखता था, जो कभी हथियारों को लहरा रहे होते थे, तो कभी किसी को गोली मार रहे होते थे. ये सब देखकर वह काफी प्रभावित हुआ और फिर उनसे कॉन्टैक्ट के लिए सिग्नल ऐप का इस्तेमाल करने लगा. पुलिस ने बताया कि अपने सदस्यों की संख्या बढ़ाने के लिए गैंग मेंबर्स अब युवाओं को सोशल मीडिया के जरिए कॉन्टैक्ट कर रहे हैं.
टास्क से साबित होती वफादारी
एक पुलिस अधिकारी ने बताया, 'युवाओं को गैंग में शामिल होने का लालच दिया जाता है और उन्हें फेम, सुरक्षा और पैसे देने की बात कही जाती है. इन सभी को अपनी वफादारी साबित करने के लिए खास टास्क दिए जाते हैं. टास्क से कुछ घंटे पहले तक कोई जानकारी नहीं दी जाती है. इस दौरान किसी खास जगह हथियारों को रख दिया जाता है.' आरोपी प्रदीप भी फेम से भरी जिंदगी चाहता था और उसे लगा कि लॉरेंस बिश्नोई गैंग ज्वाइन करने के बाद वह ऐसा कर पाएगा.
आरोपी प्रदीप सिंह की दो बड़ी बहनें हैं और उसके पिता किराना की दुकान चलाते हैं. उसने राजस्थान के बीकानेर में आठवीं क्लास तक पढ़ाई की है. स्पेशल सीपी (स्पेशल सेल) एचजीएस धालीवाल ने बताया, 'आठवीं पढ़ने के बाद वह अपने घर लौट गया और फिर उसने वहां 11वीं तक पढ़ाई की. 2022 में उसने स्कूल छोड़ा और वह अपने दोस्त के साथ रहने के लिए गुड़गांव आ गया. इसी समय उसने गैंगस्टर वीरेंद्र प्रताप उर्फ काला राणा की रील्स इंस्टाग्राम पर देखना शुरू कर दिया.'
कैसे गैंग में शामिल हुआ और पकड़ा गया आरोपी?
एचजीएस धालीवाल ने बताया, 'पिछले साल अगस्त में आरोपी ने काला राणा को इंस्टाग्राम पर फॉलो करना शुरू कर दिया. उसने उसे मैसेज किया कि वह गैंग ज्वाइन करना चाहता है. सितंबर 2023 में वह काला के कहने पर उसके भाई भानू से सिग्नल ऐप पर बात करने लगा.' पुलिस ने बताया कि 30 दिसंबर को भानू ने प्रदीप को अगले सात से आठ दिनों में अन्य सहयोगियों के साथ दिल्ली में एक अपराध को अंजाम देने का काम सौंपा.
धालीवाल ने आगे बताया, 'भानू ने प्रदीप से कहा कि कुछ और लोग उससे दिल्ली में मिलने वाले हैं. टारगेट की जानकारी बाद में दी जाएगी. आरोपी को रोहिणी के सेक्टर 24 में हथियारों की एक खेप मिली. 3 जनवरी को आरोपी प्रदीप अन्य सदस्यों से मिलने के लिए सेक्टर 23 में आया, लेकिन वह अवैध हथियारों और गोला-बारूद के साथ पकड़ा गया.' पुलिस ने एक गुप्त सूचना के आधार पर आरोपी को गिरफ्तार किया गया.
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