Kochi Waste Plant Fire: केरल के कोच्चि शहर में रहने वाले लोगों को एक बार फिर बहुत कम लोग ही सड़कों पर निकल रहे हैं, जो बाहर नजर आ रहे हैं, उनके चेहरे पर भी मास्क लगा रहता है. ये हालात कोरोना वायरस की वजह से नहीं, बल्कि यहां डंपिंग यार्ड के कचरे में लगी आग से है. दरअसल, ब्रह्मपुरम के डंपिंग यार्ड में पिछले हफ्ते 2 मार्च को आग लग गई थी. जिसका धुआं पूरे कोच्चि शहर में फैल गया और इससे 8 दिन बाद भी लोगों का दम घुट रहा है. 


कोच्चि में स्थिति कोविड-19 लॉकडाउन जैसी है. सड़कों पर इक्का दुक्का लोग हैं. जो बाहर दिखे उन्होंने मास्क लगा रखा है. बच्चे और बुजुर्ग नहीं निकल रहे हैं. जहरीला धुआं पूरे इलाके में फैल गया है. एक हफ्ते बाद शहर गैस चैंबर में बदल गया है. यहां के निवासियों ने सांस लेने में तकलीफ की शिकायत की है क्योंकि प्लास्टिक, धातु और अन्य जली हुई वस्तुओं का धुआं शहर की कॉलोनियों में भर चुका है. कई लोगों ने आंखों और गले में जलन की शिकायत की है.


प्रशासन ने जारी किए दिशा-निर्देश


केरल सरकार ने लोगों से बाहर जाते समय N95 मास्क का इस्तेमाल करने को कहा है. स्थिति स्थिर होने तक लोगों से बाहर जॉगिंग करने से बचने को कहा गया है. जिला चिकित्सा अधिकारी ने 24x7 कंट्रोल रूम स्थापित किया है. स्वास्थ्य विभाग के डॉक्टर और अन्य कर्मचारियों को किसी भी प्रकार की मेडिकल इमरजेंसी में मदद करने के निर्देश दिए गए हैं. इसके अलावा कोच्चि और पड़ोसी एर्नाकुलम में सभी स्कूल और कॉलेज बंद कर दिए गए हैं. 


50,000 टन कचरे में लगी है आग


बता दें कि यहां कम से कम 50,000 टन कचरे में आग लग गई. अग्निशमन विभाग के अधिकारियों ने कहा, "वे प्रभावित क्षेत्र के 70 फीसदी हिस्से से निकलने वाले धुएं को नियंत्रित करने में कामयाब रहे हैं. वे शेष 30 प्रतिशत से धुआं पूरी तरह से हटाने के लिए काम कर रहे हैं, जहां सुलगना प्लास्टिक कचरा एक बड़ी समस्या है."


मास्क पहनकर सो रहे लोग


कचरा प्रबंधन संयंत्र से सिर्फ 1 किमी दूर एक कॉलेज में पढ़ने वाले छात्र लिज बीजू ने बुधवार (8 मार्च) को एनडीटीवी को बताया, "शुरुआत में जब आग लगी थी, तो हम पर ज्यादा असर नहीं पड़ा था. एक बार जब आग शांत हो गई, तो बड़े पैमाने पर उठे घने धुएं से हमारे लिए बहुत मुश्किल हो गई. आज तो मेरा घर भी धुएं से भर गया था. कल हॉस्टल में रहने वाले मेरे दोस्तों को मास्क लगाकर सोना पड़ा."


नौसेना भी आग बुझाने में जुटी


प्लास्टिक, धातु और रबर सहित हैं. करीब 50 हजार टन कचरे में आग लगी है, जिससे जहरीला धुआं निकल रहा है. दमकल की 200 गाड़ियां आग बुझाने के मिशन में लगी हैं. इस काम में नौसेना के हेलिकॉप्टर भी लगाए हैं. दमकल विभाग के सूत्रों के मुताबिक, 70 फीसदी क्षेत्र सुलगते प्लास्टिक कचरे को बुझा दिया गया. बाकी 30 फीसदी इलाके में धुएं को कंट्रोल करने का काम चल रहा है. 


ये भी पढ़ें-'परिजनों को दें 20-20 लाख मुआवजा', 29 साल पहले आर्मी ऑपरेशन के दौरान हुई 5 युवकों की मौत मामले में हाई कोर्ट का फैसला