2024 लोकसभा चुनाव के अब तक के रुझानों ने हर किसी को चौंकाकर रख दिया है. 400 पार का नारा लगाने वाली बीजेपी अकेले दम पर बहुमत लाने में नाकाम साबित हो रही है तो पूरी एनडीए मिलकर भी बमुश्किल 300 पार पहुंच पा रही है. इन नतीजों ने अगर किसी को खुशी दी है तो वह है I.N.D.I.A. गठबंधन. रुझानों के हिसाब से 225 सीटों पर अटका इंडिया गठबंधन वैसे तो बहुमत से काफी पीछे है, लेकिन कांग्रेस फिर भी सत्ता में काबिज हो सकती है. जानते हैं कि पंजा कैसे अपनी पावर दिखाए कि सत्ता का समीकरण उसके पक्ष में आ जाए?


फिलहाल इंडिया गठबंधन का ऐसा हाल


लोकसभा की सभी 543 सीटों के रुझान सामने आ चुके हैं. इन चुनावों में इंडिया गठबंधन ने बीजेपी के नेतृत्व वाले एनडीए को तगड़ी टक्कर दी है. आलम यह है कि 2019 के लोकसभा चुनाव में 52 सीटों पर सिमटने वाली कांग्रेस इस बार 90 से ज्यादा सीटों पर आगे चल रही है. वहीं, इंडिया गठबंधन ने 232 लोकसभा सीटों पर बढ़त बना रखी है. 


बीजेपी तो हुई बेहाल


अब तक के रुझानों ने बीजेपी को बुरी तरह बेहाल कर दिया है. एनडीए करीब 290 सीटों पर आगे चल रहा है, जिनमें बीजेपी की झोली में 240 सीटें जाती नजर आ रही हैं. इसका मतलब यह है कि पीएम मोदी के चेहरे पर चुनाव लड़ने वाली बीजेपी इस बार अपने दम पर बहुमत भी हासिल नहीं कर पाएगी. ऐसे में सरकार चलाने के लिए उसे अपने सहयोगी दलों के रहम-ओ-करम पर निर्भर रहना पड़ेगा. इसका नुकसान पार्टी को अपने फैसलों के दौरान उठाना पड़ सकता है. 


क्या सरकार बना पाएगी कांग्रेस?


आंकड़ों पर गौर करें तो बीजेपी भले ही खुद बहुमत हासिल नहीं कर पाई, लेकिन एनडीए के पास स्पष्ट जनादेश है और वह लगातार तीसरी बार सत्ता पर काबिज होने के लिए तैयार है. लेकिन सवाल यह उठता है कि पिछले दो चुनाव के निराशाजनक प्रदर्शन के बाद 2024 के रुझानों से आसमान पर पहुंची कांग्रेस क्या सरकार बनाने की स्थिति में है? गौर करने वाली बात यह है कि अगर सियासी समीकरणों पर गौर करें तो ऐसा होना मुमकिन है. 


इस समीकरण से बन सकती है कांग्रेस की सरकार


केंद्र में सरकार बनाने के लिए कांग्रेस को 272 सीटों की जरूरत होगी, जबकि रुझान के हिसाब से वह 225 सीटों पर आगे चल रही है. इसका मतलब यह है कि कांग्रेस को सरकार बनाने के लिए 47 सीटों की और जरूरत होगी. आइए जानते हैं कि इन 47 सीटों की कमी कांग्रेस कैसे पूरी कर सकती है? सबसे पहले तो राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस को अन्य राजनीतिक दलों और निर्दलीयों की ओर रुख करना होगा, जो करीब 20 सीटों पर आगे चल रहे हैं. इसके बाद कांग्रेस महाराष्ट्र में शिवसेना शिंदे गुट (7) और एनसीपी अजित पवार (1) को मनाने में कामयाब हो जाती है तो उसे 8 सीटें और मिल जाएंगी.


इस तरह कांग्रेस को 28 सीटें मिल सकती हैं, लेकिन अब भी उसे बहुमत के लिए 19 सीटों की जरूरत होगी. अब कांग्रेस अगर बिहार में नीतीश कुमार को अपने पाले में ले आए तो उसे 15 सीटें और मिल सकती हैं, क्योंकि जेडीयू रुझानों में इतनी सीटों पर आगे चल रही है. इसके बाद अगर बीजेपी के कुछ सहयोगी दल नाराजगी के चलते कांग्रेस के खेमे में आ जाते हैं तो केंद्र में राहुल गांधी की सरकार बननी तय है.


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