लोकसभा में शून्यकाल के दौरान उठने वाले तमाम मुद्दों पर अब होगी कार्रवाई, लोकसभा स्पीकर ने शुरू की पहल
लोकसभा में शून्यकाल के दौरान सांसदों के पूछे जाने वाले तमाम प्रश्नों पर अब जवाब दिया जाएगा. इसकी पहल लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने की है. उन्होंने शून्य काल के दौरान लोकसभा में उठाए गए तमाम विषयों को जवाब और आगे की कार्रवाई के लिए संबंधित मंत्रालय के पास भेज दिया है.
नई दिल्ली: अब लोकसभा की कार्रवाई के दौरान शून्यकाल में उठाये गए तमाम मुद्दों पर संबंधित मंत्रालय को जवाब देना होगा और उसपर कार्रवाई करनी होगी. इस संदर्भ में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने नई पहल की है. दरअसल, लोकसभा अध्यक्ष ने शून्यकाल में उठाये गए सभी विषयों को आगे की कार्रवाई और उत्तर के लिए संबंधित मंत्रालयों को भेजने की पहल शुरू की है. बता दें कि सांसदों की लगातार ये शिकायत रहती थी कि वो लोकसभा में अपनी बात रखते हैं लेकिन उस पर सरकार की तरफ से जवाब नहीं आता है.
राज्यसभा में भी हाल ही में एसपी सांसद जया बच्चन ने मांग की थी कि हम यहां सिर्फ बोलते हैं और सरकार से जवाब नहीं मिलता है. उन्होंने सरकार से जवान मिलने की मांग उठाई थी जिसका कई सांसद ने समर्थन किया था. लोकसभा में आरएसपी के एन के प्रेमचंद्रन भी इस विषय को उठा चुके हैं. प्रेमचंद्रन ने कहा था कि शून्यकाल के दौरान सदस्य अपने क्षेत्र से जुड़े लोक महत्व के विषय को उठाते हैं और उम्मीद रखते हैं कि सरकार इन बिन्दुओं पर कार्रवाई करे, लेकिन आमतौर पर ऐसा नहीं होता है. बीएसपी के दानिश अली ने भी मांग उठाई थी कि सरकार को शून्यकाल में सदस्यों द्वारा उठाये गए विषयों पर जवाब देना चाहिए.
इस बारे में पूछे जाने पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने बताया, ‘‘ हाल में सम्पन्न सत्र में लोकसभा में शून्यकाल में उठाये गए सभी विषयों को आगे की कार्रवाई और उत्तर के लिए सम्बन्धित मत्रालयों को भेजा गया है. ऐसा पहली बार हुआ है.’’ उन्होंने कहा कि पहले शून्यकाल में उठाये गए विषयों को नहीं भेजा जाता था, लेकिन अब ऐसी पहल की गई है.
राज्यसभा में सभापति एम वेंकैया नायडू ने भी शून्यकाल में उठाये गए विषयों के बारे में शिकायतों पर हाल ही में कहा था कि मंत्रियों को शून्यकाल में उठाये गए विषयों पर 30 दिनों में जवाब देना चाहिए. गौरतलब है कि लोकसभा में कार्यवाही का पहला घंटा (11 से 12 बजे) प्रश्नकाल कहलाता है जबकि राज्यसभा में कार्यवाही के पहले घंटे को शून्यकाल कहते हैं. प्रश्नकाल में सांसद विभिन्न सूचीबद्ध मुद्दों पर प्रश्न करते हैं जिसकी शुरुआत राज्यसभा में 12 बजे से होती है. वहीं, शून्यकाल में सांसद बगैर तय कार्यक्रम के लोक महत्व के मुद्दों को रखते और विचार व्यक्त करते हैं.
CM योगी और मनोहर लाल खट्टर रूस यात्रा पर जाएंगे, उद्योग मंत्री पीयूष गोयल करेंगे दल का नेतृत्व
Exclusive: J&K के राज्यपाल की पाकिस्तान को चेतावनी, कहा- आतंकियों का खात्मा होकर क्लीन होगा कश्मीर CWC बैठक: सोनिया बनीं कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष, चिदंबरम के प्रस्ताव पर सभी ने एक सुर में किया समर्थन पाकिस्तान की बौखलाहट जारी, लाहौर में महाराजा रणजीत सिंह की प्रतिमा के साथ की गई तोड़फोड़