जब लोकसभा अध्यक्ष ने कह डाला, 'सदन को पश्चिम बंगाल विधानसभा मत बनाइए'
लोकसभा में बीजेपी और टीएमसी सांसदों के बीच बुधवार को तीखी नोकझोंक देखने को मिली. दरअसल, मंगलवार को बीजेपी नेता लॉकेट चटर्जी ने पश्चिम बंगाल की टीएमसी सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा था कि राज्य में हर काम के लिए कट मनी देना पड़ता है. इस पर आज सदन में बीजेपी और टीएमसी के सांसदों के बीच काफी बहस हुई.
नई दिल्ली: बीजेपी नेता लॉकेट चटर्जी ने मंगलवार को सदन में पश्चिम बंगाल की टीएमसी सरकार पर आरोप लगाया था कि राज्य में हर चीज में कट मनी (कमीशन) लिया जाता है. इस मसले पर बुधवार को लोकसभा में तृणमूल कांग्रेस और बीजेपी के सदस्यों के बीच तीखी नोकझोंक देखने को मिली. नोकझोंक के बाद सांसदों को शांत होता नहीं देख लोकसभा अध्यक्ष को बोलना पड़ा कि ‘सदन को बंगाल विधानसभा मत बनाइए.’
बता दें कि लॉकेट चटर्जी ने मंगलवार को सदन में शून्यकाल के दौरान आरोप लगाया था कि पश्चिम बंगाल में ‘‘जन्म से लेकर मृत्यु तक हर जगह कट मनी ली जाती है.’’ उन्होंने टीएमसी के कार्यकर्ताओं और राज्य सरकार पर इस तरह का आरोप लगाया था जिसे लेकर दोनों दलों के कार्यकर्ताओं के बीच नोकझोंक हुई थी.
इस मुद्दे पर टीएमसी के सुदीप बंदोपाध्याय ने बुधवार को सदन में कहा कि बीजेपी सदस्य ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री पर आरोप लगाये जो इस सदन में उपस्थित नहीं हैं. इसलिए इस संबंध में कही गयी बातों को सदन के रिकार्ड से निकाला जाना चाहिए. सुदीप बंदोपाध्याय ने यह भी कहा कि राज्य के कानून व्यवस्था के प्रश्न को सदन में नहीं उठाया जा सकता. इस पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि वह सारी कार्यवाही को देखने के बाद इस संबंध में निर्णय लेंगे.
टीएमसी नेता सुदीप बंदोपाध्याय के बैठने के बाद टीएमसी के कुछ सदस्यों और पश्चिम बंगाल से बीजेपी के कुछ सदस्यों के बीच देर तक बहस होती रही. अध्यक्ष ओम बिरला के कहने के बावजूद सदस्य देर तक एक दूसरे पर आरोप लगाते हुए देखे गये.
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