जबलपुर: मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने कोरोना काल में राज्य के जूनियर डॉक्टर्स की चार दिनों से चल रही हड़ताल को अवैध करार दिया है. इसके साथ ही हाईकोर्ट ने जूनियर डॉक्टर्स को 24 घंटे के भीतर हड़ताल वापस लेने का आदेश भी दिया है. गौरतलब है कि मध्य प्रदेश के जूनियर डॉक्टर्स विगत सोमवार से अपनी 6 सूत्रीय मांग को लेकर हड़ताल कर रहे हैं. इससे राज्य के सभी सरकारी मेडिकल कालेज हॉस्पिटल में कोरोना के इलाज की व्यवस्था चरमरा गई.


कोरोना से जुड़ी जनहित याचिका पर आज सुनवाई के दौरान मध्य प्रदेश हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस मोहम्मद रफीक खान और जस्टिस सुजय पॉल की बेंच ने राज्य के जूनियर डॉक्टर्स की सोमवार से चल रही हड़ताल के बारे में महाधिवक्ता से जानकारी ली. कोर्ट ने सवाल उठाया कि कोरोना जैसी महामारी के कठिन दौर में डॉक्टर्स हड़ताल कैसे कर सकते हैं? कोर्ट ने हड़ताल पर सख्त नाराजगी जताते हुए इसे गैरकानूनी बताया और 24 घंटे की भीतर हड़ताल वापस लेने के सख्त निर्देश दिए. हाइकोर्ट की डिवीजन बेंच ने सरकार को भी निर्देश दिए हैं कि यदि जूनियर डॉक्टर्स 24 घंटे में हड़ताल से वापस नहीं आते हैं तो उनके खिलाफ कड़ी करवाई की जाए.


चार दिन पहले अचानक काम बंद करके हड़ताल शुरू कर दी


राज्य के जूनियर डॉक्टर्स ने बीती 6 मई को एक दिन की हड़ताल करके अपने स्टाइपेंड की वृद्धि सहित 6 सूत्रीय मांग का एक पत्र शासन को दिया था और भविष्य में मांगे पूर्ण न होने पर अनिश्चितकालीन हड़ताल की धमकी दी थी. इसके बाद उन्होंने चार दिन पहले अचानक काम बंद करके हड़ताल शुरू कर दी. जूनियर डॉक्टर्स की हड़ताल को आईएमए और टीचर एसोसिएशन भी समर्थन दे रहा है.


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