भोपाल: मध्य प्रदेश में उपचुनाव की जंग के बीत पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के इमरती देवी को लेकर दिए बयान पर सियासत तेज हो गयी है. कमलनाथ के बयान के विरोध में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अगुवाई में कई बीजेपी नेताओं ने दो घंटे का मौन रखा. यह मौन धरना सुबह 10 से शुरू होकर दोपहर 12 बजे तक चला. शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ के बयान की तुलना महाभारत में दुर्योधन के द्रौपदी को लेकर गयी टिप्पणी से की.


दो घंटे के मौन व्रत के बाद शिवराज सिंह चौहान ने जब माइक संभाला तो कमलनाथ और कांग्रेस दोनों पर जमकर बरसे. मुख्यमंत्री ने कहा, ''मुझे स्पष्टिकरण की उम्मीद थी लेकिन शर्मनाक तरीके से बयान को सही ठहराया जा रहा है. आप मुझे गाली दे सकते हैं, मुझे अलग अलग नामों से बुला सकते हैं लेकिन एक महिला के लिए इस तरह का बयान सभी बेटियों और माताओं के खिलाफ है. नवरात्रि में महिलाओं का अपमान हुआ है. उन्होंने (कमलनाथ) सभी सीमाएं लांघ दी हैं.''





इमरती देवी ने एबीपी न्यूज से कहा- वो कमलनाथ नहीं कलंकनाथ हैं
इस मुद्दे पर एबीपी न्यूज़ ने इमरती देवी से बात की, इमरती देवी ने कमलनाथ को कलंकनाथ बता दिया. इमरती देवी ने कहा, ''मैं एक महिला हूं, और गरीब घर से आती हूं. घर का चूल्हा चौका करते हुए मैं आज राजनीति कर रही हूं. अगर ऐसा है तो क्या मेरा हक नहीं है राजनीति करने का, कमलनाथ क्या कहता हैं कि महिला राजनीति नहीं कर सकती. अगर वो महिलाओं के लिए ऐसे बोलते हैं तो कमलनाथ नहीं कलंकनाथ हैं.


पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने जिन इमरती देवी को लेकर विवादित बयान दिया वे अब सिंधिया के साथ बीजेपी में शामिल होकर शिवराज सरकार में मंत्री बन गई हैं. बीजेपी ने इमरती देवी को डबरा विधानसभा सीट से अपना उम्मीदवार बनाया है. रविवार को कमलनाथ जब कांग्रेस प्रत्याशी सुरेंद्र राजे के लिए प्रचार करने डबरा पहुंचे तो इमरती देवी पर निशाना साधने के चक्कर में इनकी जुबान फिसल गई.


बयान से बैकफुट पर कमलनाथ अब सफाई दे रहे
मध्य प्रदेश की 28 विधानसभा सीटों के लिए तीन नवंबर को उपचुनाव होना है. कमलनाथ इसी चुनाव के आसरे सत्ता में वापसी का सपना देख रहे हैं लेकिन इमरती देवी पर दिए बयान ने इन्हें बैकफुट पर ला दिया है. कमलनाथ अब अपने बयान पर सफाई दे रहे हैं.


कमलनाथ ने कहा, ''शिवराज जी आप कह रहे हैं कमलनाथ ने आइटम कहा. हां मैंने आइटम कहा है क्योंकि यह कोई असम्मानजनक शब्द नहीं है. मैं भी आइटम हूं आप भी आइटम है और इस अर्थ में हम सभी आइटम है. लोकसभा और विधानसभा में कार्यसूची को आइटम नंबर लिखा जाता है, क्या यह असम्मानजनक है? सामने आइए और मुकाबला कीजिए. सहानुभूति और दया बटोरने की कोशिश वही लोग करते हैं जिन्होंने जनता को धोखा दिया हो.''