(Source: Poll of Polls)
महाराष्ट्र से लेकर दिल्ली तक कैश कांड की गूंज, कांग्रेस-बीजेपी हुए आमने-सामने, जमकर चले आरोपों के तीर
कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों का आरोप है कि तावड़े मतदाताओं को पैसे बांट रहे थे.पूरे घटनाक्रम का वीडियो भी सामने आया है. कांग्रेस का कहना है कि ये निर्वाचन आयोग की निष्पक्षता पर भी सवाल खड़े करती है.
Maharashtra Assembly Election 2024: महाराष्ट्र की 288 विधानसभा सीटों पर आज बुधवार (20 नवंबर) को मतदान जारी है. इससे पहले राज्य की सियासत में आई उथल-पुथल ने सभी का ध्यान खींचा. 'कैश फॉर वोट' मामले में कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों ने बीजेपी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर तीखा हमला किया है. मुख्य आरोप बीजेपी नेता विनोद तावड़े पर है. उनपर आरोप लगाया गया है कि वो पैसे देकर वोट खरीद रहे थे.
कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों का आरोप है कि तावड़े मतदाताओं को पैसे बांट रहे थे, और इस पूरे घटनाक्रम का वीडियो भी सामने आया है. कांग्रेस का कहना है कि यह घटना निर्वाचन आयोग की निष्पक्षता पर भी सवाल खड़े करती है. मामले पर कांग्रेस के कई बड़े नेताओं ने बीजेपी को आड़े हाथों लिया है. इस पर राहुल गांधी ने आरोप लगाते हुए कहा कि यह पैसा "जनता का है जिसे लूटकर इस्तेमाल किया गया है.
उन्होंने पीएम मोदी के हालिया बयान पर कटाक्ष करते हुए पूछा, "ये 5 करोड़ किसके 'सेफ' से निकला है?" वहीं कांग्रेस पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि महाराष्ट्र की जनता इस काम का जवाब मतदान के जरिए देगी. इसके अलावा सुप्रिया श्रीनेत ने निर्वाचन आयोग पर चुप्पी साधने का आरोप लगाते हुए सवाल किया कि चुनाव प्रचार थमने के बाद तावड़े विरार क्षेत्र में क्यों मौजूद थे.
मोदी जी, यह 5 करोड़ किसके SAFE से निकला है? जनता का पैसा लूटकर आपको किसने Tempo में भेजा? https://t.co/Dl1CzndVvl
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) November 19, 2024
बीजेपी का जवाब और पलटवार
बीजेपी नेता विनोद तावड़े ने इन आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि कांग्रेस को "बचपने वाले वक्तव्य" देने की बजाय तथ्यों को जांचना चाहिए. उन्होंने कांग्रेस को चुनौती दी कि वे होटल का सीसीटीवी फुटेज देखें और सबूत पेश करें. बीजेपी आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने राहुल गांधी के बयानों को "उड़ते तीर" जैसा बताया.
चुनाव आयोग की भूमिका
चुनाव आयोग पर निष्पक्षता सुनिश्चित करने का दबाव बढ़ रहा है. कांग्रेस ने मांग की है कि आयोग तत्काल कार्रवाई करे और इस प्रकरण की जांच करें. वहीं इस प्रकरण का महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के नतीजों पर क्या असर होगा, यह मतदान के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा. हालांकि, इस मुद्दे ने मतदाताओं के बीच हलचल पैदा कर दी है और हर पार्टी इसे चुनावी हथियार बनाने की कोशिश कर रही है.