Maharashtra Rajyasabha Election: पेजेंट्स एंड वर्कर्स पार्टी (PWP) के विधायक श्यामसुंदर शिंदे (Shyamsunder Shinde) ने रविवार को शिवसेना (Shiv Sena) नेता संजय राउत (Sanjay Raut) के इस आरोप का खंडन किया कि उन्होंने राज्यसभा चुनाव में महा विकास आघाड़ी (MVA) को वोट नहीं दिया. शिंदे ने कटाक्ष किया और शिवसेना सांसद की तुलना महाभारत (Mahabharata) के संजय से की, जो ‘दिव्य दृष्टि’ के जरिये कुरुक्षेत्र के युद्ध को वहां मौजूद हुए बिना ही देख सकते थे. खुद को राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) का एक सहयोगी सदस्य बताते हुए शिंदे ने कहा कि उन्होंने पार्टी के निर्देश के तहत एमवीए प्रत्याशी के पक्ष में मतदान किया था.
शिंदे स्वाभिमानी पक्ष के देवेंद्र भुयार के बाद राउत के इस आरोप का खंडन करने वाले दूसरे विधायक हैं कि कम से कम छह विधायकों ने महाराष्ट्र की छह राज्यसभा सीटों के लिए हाल ही में हुए चुनाव में सत्तारूढ़ एमवीए (जिसमें शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस शामिल हैं) के पक्ष में मतदान नहीं किया, जबकि उन्होंने ऐसा करने का आश्वासन दिया था. शिवसेना के दूसरे उम्मीदवार संजय पवार छठी सीट पर भाजपा प्रत्याशी धनंजय महादिक से चुनाव हार गए थे. यहां तक कि राउत भी सिर्फ 41 वोट हासिल कर पाए थे, जो शुक्रवार को हुए चुनाव में राज्यसभा सदस्य के रूप में चुने जाने के लिए आवश्यक न्यूनतम वरीयता मत था.
महाभारत के संजय से की राउत की तुलना
शिंदे ने संवाददाताओं से कहा, “प्रमुख दलों के विधायकों को उनके द्वारा डाले गए वोट को अपने-अपने प्रतिनिधियों को दिखाना था. बाकी विधायकों को इसे किसी को नहीं दिखाना था.” महाराष्ट्र से राज्यसभा चुनाव जीतने वाले उम्मीदवारों में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के पीयूष गोयल, अनिल बोंडे और धनंजय महादिक, शिवसेना के संजय राउत, राकांपा के प्रफुल्ल पटेल व कांग्रेस के इमरान प्रतापगढ़ी शामिल हैं. शिंदे ने राउत पर तंज कसते हुए कहा, “अगर वह जानते हैं कि इनमें से किस विधायक ने किसे वोट दिया तो वह महाभारत के संजय हैं. मैंने राज्यसभा चुनाव में केवल एमवीए उम्मीदवारों को वोट दिया है.”
क्या कहा था संजय राउत ने?
हालांकि, शिंदे ने यह नहीं बताया कि राज्यसभा चुनाव (Maharashtra Rajyasabha Election) में उन्होंने किस उम्मीदवार को पहली, दूसरी और तीसरी वरीयता का वोट दिया. संजय पवार के धनंजय महादिक के हाथों चुनाव हारने के बाद संजय राउत (Sanjay Raut) ने कहा था कि बहुजन विकास आघाडी (बीवीए) के तीन विधायकों, करमाला से एक निर्दलीय विधायक संजयमामा शिंदे, स्वाभिमानी पार्टी के विधायक देवेंद्र भुयार और पीडब्ल्यूपी विधायक श्यामसुंदर शिंदे (Shyamsunder Shinde) ने एमवीए (MVA) को वोट नहीं दिया, ऐसा करने का आश्वासन देने के बावजूद. शिवसेना नेता ने कहा था, “कुछ विधायक ऊंची कीमत पर बिक्री के लिए उपलब्ध थे और उन्होंने हमारे प्रत्याशी को वोट देने का आश्वासन देने के बावजूद पाला बदल लिया.” इससे पहले, विधायक देवेंद्र भुयार ने दावा किया था कि उन्होंने राज्यसभा चुनाव में शिवसेना प्रत्याशी के पक्ष में मतदान किया था.
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