Maharashtra News: महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) (Maharashtra Navnirman Sena) प्रमुख राज ठाकरे (Raj Thackeray) ने मंगलवार को आश्चर्य जताते हुए कहा कि कहीं महाराष्ट्र-कर्नाटक सीमा विवाद (Maharashtra-Karnataka Border Dispute) जैसे मुद्दों को उछालने का मकसद ‘‘मुख्य खबरों’’ से ध्यान भटकाना तो नहीं है. 1960 के दशक में भाषाई आधार पर राज्यों के पुनर्गठन के बाद से सीमा विवाद के मुद्दे जारी हैं.


दोनों राज्यों के बीच सीमा विवाद के बारे में पूछे जाने पर राज ठाकरे ने कहा, ‘‘मुझे समझ में नहीं आता कि यह मुद्दा बार-बार और अचानक क्यों उठता है. यह मुद्दा वर्तमान में अदालत के समक्ष विचाराधीन है. मैंने पढ़ा है कि दिल्ली में कुछ बैठकें चल रही हैं. यह जांचने की आवश्यकता है कि क्या कोई जानबूझकर मुख्य समाचार से ध्यान भटकाने के लिए बार-बार इस प्रकार के मुद्दों को सामने ला रहा है.’’


निकाय चुनाव अकेले दम पर लड़ेगी पार्टी- राज ठाकरे


इस बीच, ठाकरे ने यह भी कहा कि मनसे मुंबई के आगामी निकाय चुनाव अकेले दम पर लड़ेगी. महाराष्ट्र के राज्यपाल बी.एस. कोश्यारी द्वारा छत्रपति शिवाजी महाराज को ‘‘पुराने समय का प्रतीक’’ कहे जाने के बारे में पूछे जाने पर, ठाकरे ने आश्चर्य व्यक्त किया कि क्या ‘‘कोई महत्वपूर्ण मुद्दों से ध्यान हटाने के लिए राज्यपाल को एक ‘स्क्रिप्ट’ देता है.’’


कांग्रेस-बीजेपी पर हमालवर हुए राज ठाकरे


वहीं, इससे पहले राज ठाकरे ने वी डी सावरकर और जवाहरलाल नेहरू पर चल रही बयानबाजी को लेकर कहा कि कांग्रेस और बीजेपी ये बंद कर देश के अहम मुद्दों पर अपना ध्यान केंद्रित करे. उन्होंने कहा कि, देश की स्वतंत्रता के लिए लड़ने-मिटने वाले राष्ट्रीय नायकों की आलोचना किसी भी प्रकार उचित नहीं है. उन्होंने अपनी बात पर जोर देते हुए कहा कि, क्या राहुल गांधी का कद सावरकर के बारे में बुरा-भला बोलने का है? उन पर टिप्पणी करने का जिन्हें 50 साल के सश्रम कारवास की सजा सुनाई गई थी. उन्होंने ये तक कहा कि राहुल गांधी ने देश में एक विवाद खड़ा कर दिया है कि सावरकर ने अंग्रेजों से माफी मांगी थी कि नहीं?


इसके अलावा, राज ठाकरे ने बीजेपी को भी आड़े हाथ लेते हुए कहा कि, भारतीय जनता पार्टी जवाहरलाल नेहरू को बदनाम कर रही है जो बिल्कुल उचित नहीं है. देश के सामने कई अहम मुद्दे हैं जिन पर उन्हें अपनी नजर बनानी चाहिए. 


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