चक्रवात निसर्ग बुधवार को मुंबई पहुंचा, लेकिन महामारी से जूझ रहे महानगर को इसने ज्यादा प्रभावित नहीं किया. इतना ही नहीं शाम में यह तूफान कमजोर भी पड़ गया. हालांकि, इसके चलते तीन लोगों की मौत हो गई और इतने ही लोग घायल भी हुए हैं जबकि रायगढ़ और पालघर जिलों में तूफान के चलते पेड़ उखड़ गये.


भारतीय मौसम विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि चक्रवात निसर्ग बुधवार दोपहर महाराष्ट्र तट पर 120 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार वाली हवाओं के साथ पहुंचा. यह अरब सागर से आया और दोपहर करीब साढ़े बारह बजे रायगढ़ जिले में स्थित अलीबाग में इसने दस्तक देना शुरू किया. यह प्रक्रिया दोपहर ढाई बजे पूरी हुई.


अधिकारी ने बताया कि चक्रवात के अगले छह घंटों में हवा के कम दबाव वाले क्षेत्र में तब्दील होने की उम्मीद है और फिलहाल यह महाराष्ट्र के पुणे के ऊपर मौजूद है.


नुकसान से बचा गुजरात


गुजरात के तटीय जिलों सहित मुंबई-वासियों और पड़ोसी इलाकों के लोगों ने चक्रवात का मुकाबला करने के लिये तैयारियां कर रखी थी. लेकिन प्रभावित इलाकों में नुकसान के रूप में केवल पेड़ उखड़ने के कारण अधिक क्षति नहीं होने से लोगों ने राहत की सांस ली.


गुजरात के दक्षिणी तटीय इलाकों में चक्रवात निसर्ग की वजह से कोई बड़ा नुकसान होने की खबर नहीं है. प्रदेश के राहत आयुक्त हर्षद पटेल ने कहा कि गनीमत रही कि चक्रवात बिना जानमाल के किसी बड़े नुकसान के गुजर गया.


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