Kolkata Football Club: कोलकाता के 132 साल पुराने फुटबॉल मैदान में सैकड़ों मैच खेले गए है और लाखों फुटबॉल प्रेमियों ने यहां अपने खेल के प्रति प्रेम को इजहार भी किया है, लेकिन आज बात कुछ अलग है. मणिपुर की जिस हिंसा की आग ने हजारों लोगों की जिंदगी तबाह कर दी है. वहीं मोहम्मदन स्पोर्टिंग क्लब में सात खिलाड़ी मणिपुर मूल के है जिन्हें फुटबॉल क्लब ने कहा है कि अगर वो चाहे अपने परिवार को यहां ला सकते हैं.


20 वर्षीय विलियम कुकी, जब मैदान में रहता है तो भी उसे अपने माता पिता की चिंता सताती है. विलियम कुकी ने कहा, हर खेल के पहले और बाद में उनसे बात भी करता हूं, अगर फोन लग जाए तो.. मैं मेरे पापा भारतीय सेना में थे जो 2018 में रिटायर हुए थे. मैं कोलकाता में 2010 में आया हूं और बैरकपुर के आर्मी पब्लिक स्कूल में पढ़ता था. वहीं से मुझे फुटबॉल में दिलचस्पी हुई. आप सबको मालूम है कि मणिपुर में कैसी परिस्थिति है, कितनी अव्यवस्था चल रही है. मैं मम्मी पापा से नहीं मिल पा रहा हूं. अभी की परिस्थिति थोड़ा शांत है, लेकिन मम्मी पापा तो गवाई में ही रहना चाहते हैं. घर छोड़ के भी कैसे जाएंगे..


कोलकाता का फुटबॉल क्लब खिलाड़ियों को दे रहा सहारा 
मणिपुर के फुटबॉल खिलाड़ी मेटलकेईशांगबम रोजर खुमान, जो मोहम्मदन स्पोर्टिंग क्लब के खिलाड़ी हैं, उन्होंने दावा किया कि वे खेल के दौरान किसी की जिंदगी नहीं ले रहे हैं और उनका एकमात्र उद्देश्य खेल में शांति और समरसता बनाए रखना है.


रोजर का कहना है कि यहां और वहां से कुछ अलग लगता है, लेकिन यह अभी भी हो रहा है, सांप्रदायिक दंगा अभी भी है, इसलिए कभी-कभी मैं अपने परिवार और अपने राज्य के कारण उदास महसूस करता हूं. अब मैं बस यहां की स्थिति के अनुसार खुद को ढालने की कोशिश करता हूं. 


मोहम्मदन स्पोर्टिंग क्लब ने मणिपुर मूल के सात खिलाड़ियों सै कहा है कि जो भी अपने परिवार को लाना चाहे उसे ला सकता है. मोहम्मडन स्पोर्टिंग क्लब के फुटबॉल सचिव दिबेंदु बिस्वास ने कहा, "मणिपुर के हमारे दल में बहुत खिलाड़ी है. हमारे गोल कीपर, प्रशिक्षक भी मणिपुर के हैं. क्लब के कोच ललित थापा फिलहाल ने अपने परिवार को बुला लिया है और साथ ही रह रहे है. क्लब की तरफ फ्लैट की व्यवस्था भी कर दी गई है."


यह भी पढे़ं:-


LAC के नजदीक लगातार अपनी सैन्य ताकत को मजबूत कर रहा चीन, सीमा पर पहुंचे आर्मी चीफ