(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Mann Ki Baat: पीएम मोदी बोले- मैं जानता था कि Healthcare Workers टीकाकरण में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेंगे
Mann Ki Baat: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज मन की बात कार्यक्रम में वैक्सीनेशन अभियान पर बात की और देशवासियों को इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए बधाई दी.
Mann Ki Baat: देश में जानलेवा कोरोना वायरस (Coronavirus) को खत्म करने के लिए वैक्सीन (Covid Vaccine) अभियान चलाया जा रहा है. अबतक देश में 100 करोड़ से ज्यादा डोज़ लग चुकी हैं. इस लक्ष्य को हासिल करके देश ने इतिहास रच दिया है. इसी के मद्देनज़र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) आज मन की बात कार्यक्रम में वैक्सीनेशन अभियान पर बात की और देशवासियों को इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए बधाई दी.
देश नए उत्साह, नई ऊर्जा से आगे बढ़ रहा है- पीएम मोदी
मन की बात कार्यक्रम में पीएम मोदी ने कहा, ‘’100 करोड़ vaccine dose के बाद आज देश नए उत्साह, नई ऊर्जा से आगे बढ़ रहा है. हमारे vaccine कार्यक्रम की सफलता, भारत के सामर्थ्य को दिखाती है. मैं अपने देश, अपने देश के लोगों की क्षमताओं से भली-भांति परिचित हूं. मैं जानता था कि हमारे Healthcare Workers देशवासियों के टीकाकरण में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेंगे.’’
'सबको वैक्सीन-मुफ्त वैक्सीन' अभियान को ऊंताई मिली- मोदी
पीएम मोदी ने कहा, ‘’लाखों Health Workers के परिश्रम की वजह से ही भारत 100 करोड़ वैक्सीन डोज का पड़ाव पार कर सका है. आज मैं हर उस भारतवासी का आभार व्यक्त करता हूं जिसने 'सबको वैक्सीन-मुफ्त वैक्सीन' अभियान को इतनी ऊंचाई दी, कामयाबी दी.’’
पीएम मोदी ने कहा, ‘’अगले रविवार, 31 अक्तूबर को सरदार पटेल जी की जन्म जयंती है. ‘मन की बात’ के हर श्रोता की तरफ से, और मेरी तरफ से, मैं, लौहपुरुष को नमन करता हूं. सरदार साहब कहते थे कि, हम अपने एकजुट उद्यम से ही देश को नई महान ऊंचाईयों तक पहुंचा सकते हैं. अगर हममें एकता नहीं हुई तो हम खुद को नई-नई विपदाओं में फंसा देंगे. यानी राष्ट्रीय एकता है तो ऊंचाई है, विकास है. हमारी आजादी का आंदोलन तो इसका सबसे बड़ा उदाहरण है.’’
पीएम मोदी ने कहा, ‘’भारत ने सदैव विश्व शांति के लिए काम किया है. हमें इस बात का गर्व है कि भारत 1950 के दशक से लगातार संयुक्त राष्ट्र शांति मिशन का हिस्सा रहा है. गरीबी हटाने, जलवायु परिवर्तन और श्रमिकों से संबंधित मुद्दों के समाधान में भी भारत अग्रणी भूमिका निभा रहा है.’’ उन्होंने कहा, ‘’पहले ये धारणा बन गई थी कि सेना और पुलिस जैसी सेवा केवल पुरुषों के लिए ही होती है लेकिन आज ऐसा नहीं है. पुलिस अनुसंधान एवं विकास ब्यूरो के आंकड़े बताते हैं कि पिछले कुछ वर्षों में महिला पुलिसकर्मियों की संख्या दोगुनी हो गई है.’’