Social Media Reaction On Manu Bhaker: भारतीय निशानेबाज और दोहरी ओलंपिक पदक विजेता मनु भाकर को ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार के लिए नहीं चुने जाने पर उठे विवाद के बाद 22 साल की पिस्टल निशानेबाज ने कहा कि उनका लक्ष्य देश के लिए प्रदर्शन करना है और इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि उन्हें पुरस्कार मिलता है या नहीं. मनु भाकर का नाम खेल रत्न के लिए न चुने जाने को लेकर सोशल मीडिया पर भी तमाम रिएक्शन देखने को मिले हैं.


सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लोगों ने लिखा कि गांधी परिवार से मिलने की सजा मोदी सरकार ने खेल रत्न न देकर दी है. अंकित सिंह नाम के एक यूजर ने लिखा, “मनु भाकर दो ओलंपिक पदक जीतने के बाद सबसे पहले गांधी परिवार से मिलने गई थी, इसलिए मोदी सरकार उनको खेल रत्न नहीं दे रही है? सरकार ने कहा कि मनु भाकर ने अपना नाम खुद ही नहीं दिया. मनु भाकर के पिता ने कहा कि उन्होंने नाम दिया था. क्या अब मोदी के पालतू पत्रकार और आईटी सेल के लोग मनु भाकर को भी विनेश फोगाट जैसी झूठी, देशद्रोही और मोदी विरोधी बुलाएंगे? क्या वो इसके पीछे भी जॉर्ज सोरोस का हाथ बताएंगे? क्या अब वो मनु भाकर को भी चाइनीज एजेंट बताएंगे?”


‘कितने दुर्भाग्य की बात है?’


इसके अलावा जैकी यादव नाम के एक यूजर ने लिखा, “हाल ही में चर्चाओं में रहा कि मनु भाकर का नाम ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार के लिए नहीं भेजा गया है. ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार देश का सबसे बड़े खेल पुरुस्कार है. इस बार Olympic में दो दो मेडल जीतकर देश का सिर गौरव से उठाने वाली खिलाड़ी को यह पुरुस्कार न दिए जाएं. तो सोचिए यह कितने दुर्भाग्य की बात है? पिछले कई दिनों से लगातार खेल मंत्रालय की आलोचना होने के बाद अब सूत्रों का कहना है कि फाइनल लिस्ट में मनु भाकर का खेल रत्न अवॉर्ड के लिए नाम हो सकता है.”


‘मनु भाकर से लिया जा रहा है बदला’


वेद प्रकाश विद्रोही नाम के एक अन्य यूजर ने लिखा, “Olympics2024 में 2 कांस्य पदक जीतने पर भी मनु भाकर का नाम खेल रत्न अवार्ड के लिए मोदी सरकार द्वारा शॉर्ट लिस्ट न करना अपने आप में प्रमाण है कि राहुल गांधी से मनु भाकर परिवार सहित 10 जनपथ जाकर मिली थी उसी का बदला लिया जा रहा!”


मनु भाकर ने क्या कहा?


सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट में मनु ने लिखा, "प्रतिष्ठित खेल रत्न पुरस्कार के लिए मेरे नामांकन को लेकर चल रहे मुद्दे के संबंध में, मैं यह कहना चाहूंगी कि एक एथलीट के तौर पर मेरी भूमिका अपने देश के लिए खेलना और प्रदर्शन करना है. पुरस्कार और मान्यता मुझे प्रेरित करते हैं, लेकिन ये मेरा लक्ष्य नहीं हैं."






उन्होंने आगे कहा, "मेरा मानना ​​है कि नामांकन दाखिल करते समय संभवतः मेरी ओर से कोई चूक हुई है, जिसे सुधारा जा रहा है. पुरस्कार चाहे जो भी हो, मैं अपने देश के लिए और अधिक पदक जीतने के लिए प्रेरित रहूंगी. मैं सभी से अनुरोध करती हूं कि इस मामले पर अटकलें न लगाएं."


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