Delhi Govt On MCD Schools: दिल्ली नगर निगम स्कूलों के प्रिंसिपल 'स्कूल मैनेजमेंट' और 'लीडरशिप' के गुर सीखने के लिए आईआईएम से ट्रेनिंग लेने जा रहे है. इस दिशा में एमसीडी स्कूलों से 50 प्रिंसिपलों का पहला बैच 29 जून को सात दिवसीय ट्रेनिंग के लिए आईआईएम अहमदाबाद जा रहा है. मंगलवार (27 जून) को दिल्ली की शिक्षा मंत्री आतिशी और मेयर शैली ओबरॉय ने प्रेस कांफ्रेंस के माध्यम से इसकी घोषणा की.
इस मौके पर शिक्षा मंत्री आतिशी ने कहा कि वर्ल्ड क्लास शिक्षा के लिए शिक्षकों की वर्ल्ड क्लास ट्रेनिंग अहम है. इस दिशा में एमसीडी स्कूलों के प्रिंसिपलों की आईआईएम में ट्रेनिंग एमसीडी की शिक्षा व्यवस्था में बदलाव का बड़ा कदम साबित होगी. उन्होंने कहा कि यदि एमसीडी स्कूलों के प्रिंसिपल को सशक्त बनाया जाए, उन्हें वर्ल्ड क्लास ट्रेनिंग दी जाए तो एमसीडी स्कूलों को वर्ल्ड क्लास बनने से कोई नहीं रोक सकता है.
AAP एमसीडी स्कूलों से बदहाली को दूर करेगी- आतिशी
दिल्ली की शिक्षा मंत्री ने कहा कि पिछले 15 वर्षों से एमसीडी का एजुकेशन सिस्टम इतना बदहाल है कि अधिकतर बच्चे पढ़ना-लिखना भी नहीं सीख सके, लेकिन अब आम आदमी पार्टी एमसीडी स्कूलों से इस बदहाली को दूर करेगी. इस दिशा में एमसीडी स्कूलों के प्रिंसिपलों की शानदार ट्रेनिंग, एमसीडी स्कूलों में शिक्षा क्रांति लाने में मददगार बनेगी और वो दिन दूर नहीं है जब दिल्ली के हर बच्चों को नर्सरी से लेकर 12वीं तक वर्ल्ड क्लास शिक्षा मिलेगी.
मेयर शैली ओबरॉय ने कहा कि दिल्ली सरकार के स्कूलों के तर्ज पर अब एमसीडी के स्कूलों के शिक्षकों और प्रिंसिपलों को हम देश-विदेश से ट्रेनिंग दिलवाएंगे. आईआईएम अहमदाबाद में स्कूल लीडरशिप और मैनेजमेंट की ट्रेनिंग के साथ इसका शुभारंभ हो चुका है.
आतिशी बोलीं- शिक्षा को कुल बजट का 25 फीसदी हिस्सा दिया
शिक्षा मंत्री आतिशी ने कहा कि शिक्षा केजरीवाल सरकार की सबसे बड़ी प्राथमिकता रही है. जब से अरविंद केजरीवाल दिल्ली के मुख्यमंत्री बने है तबसे हर साल दिल्ली के बजट में शिक्षा को सबसे बड़ा हिस्सा मिला है.
उन्होंने कहा कि केजरीवाल सरकार ने लगातार शिक्षा को कुल बजट का लगभग 25 फीसदी हिस्सा दिया है जो देश में किसी भी अन्य राज्य से अधिक है. शिक्षा में केजरीवाल सरकार की ओर से इस निवेश से दिल्ली में शिक्षा क्रांति आई है और आज पूरा देश और दुनिया इसे देख रही है.
उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार के अधिकतर स्कूल छठी से 12 क्लास तक के है. दिल्ली के एजुकेशन सिस्टम में एक बड़ी चुनौती प्राथमिक शिक्षा रही है. यह पाया गया है कि जो बच्चे छठी कक्षा में एमसीडी के स्कूलों से दिल्ली सरकार के स्कूलों दाखिला लेते हैं, उन्हें बुनियादी पढ़ना-लिखना भी नहीं आता है क्योंकि पिछले 15 वर्षों से एमसीडी का एजुकेशन सिस्टम इतने बुरे हाल में रहा है कि बच्चे नर्सरी से पांचवीं तक 7 वर्षों की शिक्षा लेने के बाद भी पढ़ना-लिखना नहीं सीख सके. उन्होंने कहा कि लेकिन जब से एमसीडी में आम आदमी पार्टी की सरकार बनी है तब से एमसीडी में भी शिक्षा हमारी पहली प्राथमिकता बन गई है.
'वर्ल्ड क्लास ट्रेनिंग का सिलसिला शुरू'
उन्होंने कहा कि इस दिशा में स्कूलों के इंफ्रास्ट्रक्चर और रख-रखाव पर काम शुरू हो चुका है और अब एमसीडी के स्कूलों के प्रिंसिपल और शिक्षकों के लिए भी वर्ल्ड क्लास ट्रेनिंग का सिलसिला शुरू हो चुका है क्योंकि यदि दिल्ली के बच्चों को वर्ल्ड क्लास शिक्षा देनी है इसके लिए जरूरी है कि हम एमसीडी स्कूलों के अपने शिक्षकों और प्रिंसिपलों को सबसे शानदार ट्रेनिंग दिलवाए.
उन्होंने कहा कि अगर लीडरशिप और मैनेजमेंट में सबसे बेहतर ट्रेनिंग संस्थानों की बात की जाए तो उनमें आईआईएम शीर्ष पर शामिल है. उन्होंने कहा, ''मुझे इस बात की घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि अब से एमसीडी के स्कूलों के प्रिंसिपलों को भी आईआईएम अहमदाबाद सहित अन्य आईआईएम में ट्रेनिंग के लिए भेजा जाएगा.''
'आईआईएम के टॉप प्रोफेसर देंगे ट्रेनिंग'
दिल्ली की शिक्षा मंत्री ने कहा कि एमसीडी स्कूलों के 50 प्रिंसिपलों का पहला दल 29 जून को ट्रेनिंग के लिए आईआईएम अहमदाबाद जाएगा. यह ट्रेनिंग एक सप्ताह तक चलेगी, जहां सभी प्रिंसिपलों को आईआईएम के टॉप प्रोफेसर स्कूल लीडरशिप और मैनेजमेंट की ट्रेनिंग देंगे.
उन्होंने कहा, ''पिछले 8 वर्षों में दिल्ली सरकार के स्कूलों में एक शिक्षा क्रांति आई है और मुझे पूरा भरोसा है जैसे-जैसे हमारे शिक्षक और प्रिंसिपल प्रशिक्षण लेंगे, सशक्त बनेंगे तो एमसीडी के स्कूलों में भी शिक्षा क्रांति को आने से कोई नहीं रोक सकता और आने वाले कुछ वर्षों में दिल्ली के हर बच्चे को नर्सरी से लेकर 12वीं तक वर्ल्ड क्लास शिक्षा मिलेगी.''
दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय ने ये कहा
इस मौके पर मेयर शैली ओबेरॉय ने कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी के नेतृत्व में जो बदलाव दिल्ली सरकार के स्कूलों में आया, ठीक वैसा ही बदलाव अब एमसीडी के स्कूलों में भी आएगा. उन्होंने कहा कि प्राथमिक शिक्षा बच्चों की बुनियादी शिक्षा होती है जो सबसे ज्यादा जरूरी है क्योंकि जब बच्चे की बुनियाद मजबूत होगी तो वो उच्च कक्षाओं में बेहतर ढंग से बिना किसी मुश्किल से सीख सकेगा. इसलिए हम अपने शिक्षकों को सशक्त बनाने पर फोकस कर रहे हैं.
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