MEA Reply to OIC: जम्मू-कश्मीर (Jammu Kashmir) में धारा 370 (Article 370) का खात्मा करने के 3 साल पूरे होने पर इस्लामिक देशों के संगठन ओआईसी (OIC) के बयान का जवाब विदेश मंत्रालय (MEA) की तरफ से दिया गया है. विदेश मंत्रालय ने कहा है कि ऐसे बयान ओआईसी को केवल ऐसे संगठन के रूप में उजागर करते हैं जो आतंकवाद (Terrorism) के माध्यम से सांप्रदायिक एजेंडे के लिए समर्पित हैं.


जम्मू-कश्मीर पर ओआईसी महासचिव की प्रेस विज्ञप्ति के संबंध में मीडिया के सवालों के जवाब में, विदेश मंत्रालय के आधिकारिक प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि जम्मू-कश्मीर पर इस्लामिक सहयोग संगठन (Organisation of Islamic Cooperation) के महासचिव का जारी बयान कट्टरता की बात करता है. उन्होंने कहा कि केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर भारत का अभिन्न और अविभाज्य हिस्सा है और रहेगा. उन्होंने कहा कि तीन साल पहले लंबे समय से प्रतीक्षित परिवर्तनों के परिणामस्वरूप, यह आज सामाजिक-आर्थिक विकास और विकास के लाभों को प्राप्त कर रहा है.


क्या कहा था ओआईसी ने


ओआईसी (OIC) ने एक बयान जारी करते हुए कहा था कि तीन साल पहले भारत सरकार (Indian Government) ने गैर कानूनी रूप से एकतरफा फैसला लिया था. भारत सरकार ने एकतरफा फैसला करके कई गैरकानूनी भू-राजनीतिक बदलाव किए हैं. ओआईसी ने अतरराष्ट्रीय समुदाय से अपील की है कि वो संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (United Nations Security Council) के प्रस्तावों के तहत जम्मू-कश्मीर (Jammu Kashmir) विवाद के हल के लिए उचित कदम उठाए.  


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