PFI पर सख्त हुई यूपी सरकार, गृह मंत्रालय को सौंपी रिपोर्ट- सूत्र
सूत्रों के मुताबिक गृह मंत्रालय ने यूपी सरकार की तरफ से पीएफआई की गतिविधियों को लेकर रिपोर्ट प्राप्त की है. बता दें कि अबतक पीएफआई के 25 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है.
नई दिल्ली: नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के दौरान यूपी में हुई हिंसा के पीछे पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के संलिप्त होने की बात सामने आई है. सूत्रों के मुताबिक पीएफआई पर यूपी सरकार ने गृहमंत्रालय को रिपोर्ट सौंपी है. मालूम हो कि पीएफआई के 25 लोगों को अबतक गिरफ्तार किया गया है. ये सभी आपराधिक गतिविधियों में संलिप्त पाए गए.
हिंसा में पीएफआई का नाम आने के बाद यूपी गृह विभाग इस संगठन को भी प्रतिबंधित करने के लिए केंद्र सरकार से सिफारिश कर चुका है. ईडी, आय़कर विभाग औऱ गृह मंत्रालय के अधीन एफसीआरए ने पीएफआई के विदेशी चंदे की जांच शुरू कर दी है. पीएफआई और उससे जुड़े लोगों के खातों में सौ करोड़ रुपये से ज्यादा आने का अनुमान है. जिसमें ज्यादातर रकम कैश में जमा कराई गई है.
Union Ministry of Home Affairs Sources: We have received a report from Uttar Pradesh on activities of Popular Front of India (PFI) in the state. pic.twitter.com/DEkGHQBMAk
— ANI (@ANI) January 3, 2020
अब तक की जांच की अहम बातें * पीएफआई और उससे जुड़े देश भर में तीन दर्जन खाते. * इन खातों में 100 करोड़ रुपये से ज्यादा जमा होने का अनुमान. * ज्यादातर रकम नगदी में जमा कराई गई. * ये रकम 20 हजार से लेकर 1 लाख तक जमा कराई गई. * बैंक खाते दिल्ली, यूपी, केरल, मणिपुर आदि जगहों पर. * खातों में गल्फ कंट्री से पैसा आने का शक.
पीएफआई को जानिए
पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया है, यह एक उग्र इस्लामी कट्टरपंथी संगठन है. दक्षिण भारत के राज्यों में यह संगठन बेहद सक्रिय है. ये संगठन चुनाव भी लड़ता रहा है. यूपी में पिछले 6 महीने में संगठन तेजी से फैला है. पीएफआई दावा करता है कि वो एक ऐसा संगठन है जो लोगों को उनका हक दिलाने की लड़ाई लड़ता है.
पीएफआई का दावा करता है कि उसके काम सामिजक हितों वाले हैं. संगठन की वेबसाइट पर कई वीडियो मौजूद हैं. एक हकीकत ये भी है कि पीएफआई का नाम गैरकानूनी कामों में भी आ चुका है. झारखंड में इसकी गतिविधियों के चलते वहां की सरकार ने बैन लगा रखा है.
यूपी के मंत्री मोहसिन रजा यहां तक कह चुके हैं कि पीएफआई के पीछे पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई का हाथ है. उन्होंने दावा किया था कि पीएफआई, आईएसआई के इशारों पर काम कर रही है.