श्रीनगर: कश्मीर में बीते महीने बहाल की गई 2जी मोबाइल इंटरनेट सेवा को आज एक बार फिर निलंबित कर दिया गया. यह कदम संसद हमले के दोषी अफजल गुरु की बरसी की वजह से उठाया गया है. अधिकारियों ने कहा कि श्रीनगर के कुछ भागों में हल्की-फुल्की पाबंदी लगाई गई है. अफजल गुरु की सातवीं बरसी पर ऑल पार्टी हुर्रियत कांफ्रेंस ने कश्मीर में बंद का आह्वान किया था.
अधिकारियों ने बताया कि रविवार तड़के मोबाइल इंटरनेट सेवाएं स्थगित कर दी गयीं क्योंकि प्रशासन को अलगाववादी संगठनों के बंद आह्वान के मद्देनजर घाटी में हिंसा होने की आशंका है. प्रशासन ने 25 जनवरी को कश्मीर में टू जी इंटरनेट सेवाएं बहाल कर दी थी. पांच महीने से भी अधिक समय पहले पिछले साल पांच अगस्त को अनुच्छेद 370 को हटाए जाने के बाद से घाटी में सभी संचार सुविधाएं बंद कर दी गयी थीं.
पुलिस ने अफजल गुरू की बरसी पर हड़ताल का आह्वान करने को लेकर प्रतिबंधित जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) के खिलाफ शनिवार को प्राथमिकी दर्ज की थी. अफजल गुरू को संसद पर दिसंबर, 2001 में हुए हमले में उसकी कथित भूमिका को लेकर 2013 में तिहाड़ जेल में फांसी दे दी गयी थी .
जेकेएलएफ की प्रेस विज्ञप्ति को खबर बनाने को लेकर दो पत्रकारों को पुलिस ने तलब किया था. जेकेएलएफ ने रविवार और मंगलवार को हड़ताल का आह्वान किया था. मंगलवार को जेकेएलएफ के संस्थापक मोहम्मद मकबूल भट की बरसी है. दोनों पत्रकारों को पूछताछ के बाद छोड़ दिया गया. मकबूल भट्ट को 1984 में फांसी पर चढ़ा दिया गया था और उसके शव को तिहाड़ जेल के अंदर ही दफना दिया गया था.
अधिकारियों ने बताया कि इस बीच, हड़ताल के चलते कश्मीर में सामान्य जनजीवन प्रभावित रहा. उन्होंने बताया कि बाजार और व्यावसायिक प्रतिष्ठान बंद रहे और सड़कों पर सार्वजनिक वाहन बहुत कम ही नजर आये. घाटी में कहीं से भी अब तक किसी अप्रिय घटना की खबर नहीं है.