अफगानिस्तान से अमेरिकी सैनिकों की वापसी के फैसले के साथ ही तालिबान ने पूरे देश को एक बार फिर से अपने कब्जे में ले लिया है. एक के बाद एक शहर को अपने कब्जे में लेने के बाद तालिबान जहां 20 साल बाद अफगानिस्तान में सत्ता काबिज कर रहा है, वहीं देश के राष्ट्रपति अशरफ़ ग़नी पहले ही देश को छोड़कर भाग चुके हैं.


अफगानिस्तान पहुचेंगे 3 हजार से ज्यादा सैनिक


इस बीच कई देशों ने अफगानिस्तान के दूतावास में मौजूद कई राजनयिकों और नगारिकों को वापस लाने की तैयारी शुरू कर दी है. अमेरिकी सेना के मेजर जनरल हैंक टेलर का कहना है कि बीते 72 घंटे के दौरान लगभग 2500 सैनिकों को काबुल में भेजा जा चुका है. इसके अलावा अभी और सैनिक भेजे जा रहे हैं. 


मेजर जनरल हैंक टेलर के अनुसार दिन के अंत तक लगभग 3,000 से 3,500 सैनिकों के अफगानिस्तान पहुंचने की उम्मीद जताई जा रही है. उनका कहना है कि अफगानिस्तान में हामिद करजई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे को ऑपरेशन के िए खोला गया है. जिसके बाद पहला C17 उतर चुका है वहीं इसके बाद अगला C17 अब उतरने की तैयारी कर रहा है. 






हवाई क्षेत्र को खोले रखने की जिम्मेदारी


मेजर जनरल हैंक टेलर का कहना है कि वह लगातार अफगानिस्तान में हवाई क्षेत्र को खोले रखने का प्रयास जारी रखेंगे. जिससे की वहां फंसे हुए उनके नागरिकों को सुरक्षित तरीके से बाहर निकाला जा सके और उड़ानों का परिचालन किया जा सके. 


बता दें कि अब तक काबुल से कम से कम दो अमेरिकी C-17 कार्गो जेट ने उड़ान भरी है. सोमवार की रात और इस सप्ताह के अंत में और अधिक उड़ानों की उम्मीद है, सोमवार को एयरपोर्ट पर आठ लोग मारे गए और उड़ानें रोकी गईं. वहीं सोशल मीडिया पर ऐसे कई वीडियो तेजी से वायरल होते देखे गई जिनमें लोगों को प्लेन के ऊपर चढ़ते देखा गया था. जिससे गिरने के कारण कुछ लोगों की मौत भी हो गई थी.


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