DTC Signed MoU With DMRC: दिल्ली सरकार (Delhi Government) दिल्ली के बस टर्मिनलों (Delhi Bus Terminal) को अत्याधुनिक तकनीक के साथ विश्वस्तरीय बुनियादी ढांचा तैयार करेगी. इसके लिए आज दिल्ली परिवहन निगम (DTC) और दिल्ली मेट्रो रेल निगम (DMRC) के बीच एक MOU पर हस्ताक्षर किया गया. परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत (Kailash Gahlot) की उपस्थिति में इस समझौता ज्ञापन पर डीएमआरसी के प्रोजेक्ट डायरेक्टर डीके सैनी और डीटीसी के सीजीएम (ऑपरेशन) वीके गुप्ता ने हस्ताक्षर किया.


इस एमओयू के तहत पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप(पीपीपी), प्रॉपर्टी बिजनेस (पीबी), और डिपॉजिट वर्क बेसिस मॉडल पर दिल्ली के बस टर्मिनलों को विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचे में तैयार किया जाएगा. जिसमें पहले चरण में पांच बस टर्मिनल नेहरू प्लेस, नजफगढ़, आजादपुर, महरौली और नरेला को अत्याधुनिक तकनीक के साथ विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचे में बदला जाएगा.


एक समिति का गठन करेगी डीटीसी
इस विकास परियोजना की निगरानी के लिए डीटीसी की अध्यक्षता में एक समिति गठित की जाएगी. इस समिति में डीटीसी और डीएमआरसी के दो-दो सदस्य शामिल होंगे. MOU के अनुसार, डीएमआरसी इन परियोजनाओं के पूर्व-निर्माण गतिविधियों जैसे प्रारंभिक योजनाओं के विकास, प्रारंभिक अनुमानों की तैयारी, निर्माण गतिविधियों जैसे कि डिजाइन / ड्राइंग की मंजूरी सहित सभी सेवाएं प्रदान करेगा. 


भूमि देय एजेंसी होने के कारण डीटीसी परियोजना के कार्यान्वयन के लिए विकासकर्ता के रूप में कार्य करेगा और परियोजना के पूरा होने के बाद विकसित इकाइयों के आवंटन के लिए जिम्मेदार होगा. परियोजना के पहले चरण में, डीटीसी और डीएमआरसी द्वारा संयुक्त रूप से नेहरू प्लेस, नजफगढ़, आजादपुर, महरौली और नरेला में भूमि पार्सल/बस टर्मिनलों को टर्मिनलों के रूप में विकसित करने के लिए चिन्हित किया गया है.


हर तीन महीने में की जाएगी परियोजना की समीक्षा
डीटीसी की अध्यक्षता में एक समिति गठित की जाएगी, जिसमें डीटीसी और डीएमआरसी के दो-दो सदस्य शामिल होंगे. जो इस विकास परियोजना के कार्यों की निगरानी करेंगे. इसके साथ ही प्रोजेक्ट के डिजाइन और विकास परियोजना की रूपरेखा भी तैयार करेंगे. यह समिति तिमाही आधार पर परियोजना की वित्तीय स्थिति की भी समीक्षा करेगी. समिति परियोजना की लागत के हिसाब से प्रारंभिक निधि राशि भी तय करेगी, जिसे पहली किश्त के रूप में डीएमआरसी के पास जमा की जाएगी. इस MOU पर हस्ताक्षर करने की तारीख से 15 दिनों के भीतर अधिकार प्राप्त समिति का गठन किया जाएगा.


विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचे को विकसित करने के लिए, डीएमआरसी हरित भवन सुविधाओं, वर्षा जल संचयन प्रणाली, ऊर्जा कुशल भवन सुविधाओं, जल संरक्षण, सीवेज / अपशिष्ट उपचार / रीसाइक्लिंग / निपटान, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, समर्पित वाहन पार्किंग, हरित पट्टी, जैसी चीजों को शामिल करेगा.


क्या बोले परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत?
परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत (Kailash Gehlot) ने कहा कि हम दिल्ली में एक विश्व स्तरीय ऊर्जा कुशल परिवहन बुनियादी ढांचा विकसित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं. दिल्ली की सार्वजनिक बसें और मेट्रो शहर की जीवन रेखा हैं और डीटीसी (DTC) और डीएमआरसी (DMRC) दोनों ऐसे संगठन हैं जिनके पास बहुत सारी तकनीक और परिचालन विशेषज्ञता और अनुभव है. मुझे उम्मीद है कि इन दोनों संगठनों के एक साथ आने से बस टर्मिनलों की स्थिति बनाने में सफलता मिलेगी, जिसे हम जल्द ही दिल्ली की जनता को समर्पित करने में सक्षम होंगे.




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