नई दिल्ली: मोदी सरकार ने 2021-22 के रबी बिक्री सीज़न के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य ( एमएसपी ) का एलान कर दिया है. रबी फसलों में गेहूं और कुछ अन्य फ़सलें शामिल हैं. कैबिनेट के फ़ैसले के मुताबिक़ गेहूं के एमएसपी में 50 रुपये प्रति क्विंटल की बढोत्तरी की गई है. इसे 1924 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 1975 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है. कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने एमएसपी बढाने का एलान लोकसभा में किया. तोमर के मुताबिक़ गेहूं के एमएसपी में 2.6 फ़ीसदी की बढोत्तरी हुई है. सरकार का दावा है कि किसानों को लागत मूल्य से 106 फ़ीसदी ज़्यादा मुनाफ़ा होगा.
रबी सीजन के अन्य फ़सलों में जौ का एमएसपी 1525 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 1600 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है. जबकि चना के न्यूनतम समर्थन मूल्य में 225 रुपये प्रति क्विंटल की बढोत्तरी कर 5100 रुपये प्रति क्विंटल करने की सिफ़ारिश की गई है. सबसे ज़्यादा बढ़ोत्तरी मसूर दालों के समर्थन मूल्य में
की गई है. 300 रुपये प्रति क्विंटल की बढोत्तरी कर इसे 5100 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है. ये बढोत्तरी 6.3 फ़ीसदी है. सरसों के एमएसपी में भी 225 रुपये प्रति क्विंटल की वृद्धि की गई है.
एमएसपी को लेकर किसानों की हैं आशंकाएं
कृषि से जुड़े बिलों को लेकर किसानों के विरोध की एक मुख्य वजह एमएसपी ही है. किसानों को आशंका है कि नया क़ानून बनने के बाद सरकार एमएसपी को ख़त्म कर देना चाहती है. हालांकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर संसद में और संसद के बाहर कई बार ये बात साफ़ कर चुके हैं कि एमएसपी पहले की तरह जारी रहेगी और किसानों की आशंका निर्मूल है. लोकसभा में बयान देते वक़्त भी नरेंद्र सिंह तोमर ने ये साफ़ किया कि सरकार ने आज एमएसपी का एलान कर सभी आशंकाओं को खारिज़ कर दिया है.