मुंबईः मुंबई यूनिवर्सिटी में अकादमी ऑफ थिएटर एंड आर्टस् के डायरेक्टर योगेश सोमन को फोर्सड लिव पर भेजा गया है. यह फैसला यूनिवर्सिटी प्रशासन की ओर से लिया गया है. 13 जनवरी की तारीख को थिएटर एंड आर्टस् के छात्रों ने दिनभर डिपार्टमेंट में सुविधा न होने और कई मुद्दों को लेकर आंदोलन किया. इस आंदोलन के दौरान छात्रों ने मांग रखी की डायरेक्टर योगेश सोमन को यहां से हटाया जाए.


छात्रों की मांग को लेकर यूनिवर्सिटी की ओर से एक पत्र जारी किया गया. जिसमें कहा गया कि योगगेश सोमन को तत्काल प्रभाव से छुट्टी पर भेजा जा रहा है. यूनिवर्सिटी की ओर से कहा गया है कि छात्रों की ओर से उठाए गए मुद्दों को लेकर चर्चा हुई.


कमेटी का हुआ गठन


छात्रों की मांग को देखते हुए एक जांच कमेटी का गठन किया गया है. कमेटी की जांच होने तक डायरेक्टर योगेश सोमन को तत्काल प्रभाव से छुट्टी पर भेजा जा रहा है. जिससे निष्पक्ष रूप से समिति जांच कर सके. जांच कमेटी 4 हफ्ते में अपनी रिपोर्ट सौंपेगी.


वहीं यूनिवर्सिटी की ओर से उठाए गए इस कदम को लेकर योगेश सोमन ने कहा कि ऐसा इसलिए किया गया है कि मैंने राहुल गांधी पर टिप्पणी की थी. उन्होंने कहा कि क्या कांग्रेस को एक्टर योगेश सोमन की अभव्यक्ति की आज़ादी रास नही आई?


सोमन ने विवाद में राहुल गांधी को खींचा


बता दें कि 14 दिसबर 2019 को योगेश सोमन ने वीर सावरकर पर राहुल गांधी के खिलाफ बयान देते हुए एक वीडियो पोस्ट किया था. इस पोस्ट को लेकर एनएसयूआई के छात्रों ने आरोप लगाया था कि इससे कांग्रेस नेता राहुल गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी का अपमान हुआ है.


योगेश सोमन के विरोध में उतरे छात्रों का क्या कहना है कि उनका इस्तीफा होना चाहिए. हमें अच्छे फैकल्टी चाहिए जिसके पास अनुभव हो. 6 महीना पढ़ाई बर्बाद हुई, पढ़ाई का नुकसान हुआ, इसका यूनिवर्सिटी मुआवजा दे.


'टीचिंग स्फाट में अनुभव की कमी'


छात्रों ने मुद्दा उठाया की अकादमी में सुविधाएं नहीं हैं. कोर्स के सिलेबस को भी अमल में नहीं लाया जा रहा है. जो टीचिंग स्टाफ है उनमें अनुभव की कमी है. टीचिंग स्टाफ बढ़ाने और बदलने की मांग की गई है. विजिटिंग फैकल्टी जिनके नाम प्रोस्पेक्टस में दिए है उन्हें नही बुलाया जाता.


छात्रों का आरोप है कि योगेश सोमन के PA उनके लेक्चर लेते है जो कि इस लायक नहीं हैं. छात्रों का कहना है कि अकादमी में हिंदी, मराठी और अंग्रेजी में पढ़ाई की बात कही गई थी, लेकिन अकादमी में 80% पढ़ाई मराठी में होता है इस कारण बाहरी छात्रों को दिक्कत होती है.


समर्थन में छात्रों में ने क्या कहा?


योगेश सोमन के समर्थन में उतरे छात्र का क्या कहना है कि जो लोग स्ट्राइक कर रहे थे उनका पक्ष सुना गया. इस दौरान छात्रों ने कहा कि कोर्स का मामला अलग है और राहुल गांधी का अलग. इन दोनों को मिलाकर अब इस मुद्दे ने तूल दिया जा रहा है.


समर्थन करने वाले छात्रों ने कहा कि राहुल गांधी पर टिप्पणी करने के कारण डायरेक्टर सोमन को निशाना बनाया गया. समर्थन में उतरे छात्रों का कहना है कि अकादमी के कई मुद्दे थे जिसपर काम हुआ, क़ई मुद्दे थे जिनको लेकर स्टूडेंट्स ने मुद्दा रखा.


योगेश को मिला BJP का साथ


छात्रों ने कहा कि डायरेक्टर के ना होने से रेगुलर छात्रों का नुकसान हो रहा है. एनएसयूआई को राहुल गांधी के मुद्दे पर एक मौका मिल रहा है. एनएसयूआई ने पहले आंदोलन किया, उसके बाद लेफ्ट छात्रो को मौका मिला. आंदोलन करने वाले वो छात्र जो क्लास में नही रहते. छात्र डायरेक्टर के पास अपना मुद्दा लेकर नही गए सीधे आंदोलन करने लगे.

इस मुद्दे पर अब राजनीति तेज हो गई है. योगेश सोमन के पक्ष में बीजेपी के कई नेता उतर चुके हैं. वहीं योगेस सोमन को अखिल भारतीय छात्र संगठन (एबीवीपी) का भी साथ मिल गया है.


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