मुंबई: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि हाल ही में प्रयागराज में सफाईकर्मियों के पैर धोने का उद्देश्य राजनीतिक लाभ लेना नहीं, बल्कि मेरे संस्कारों की देन था. 'मेरा बूथ सबसे मजबूत' कार्यक्रम के तहत दिल्ली में वीडियो कान्फ्रेंस के जरिये देशभर के बीजेपी कार्यकर्ताओं से मुखातिब प्रधानमंत्री ने महाराष्ट्र के पुणे के एक कारपोरेटर द्वारा पूछे गए सवाल के जवाब में यह बात कही.


मोदी ने कहा कि ''कुंभ में सफाई कामगारों ने 22 करोड़ लोगों के लिए स्वच्छता बनाए रखने के लिए काफी मेहनत की और विश्व में भारत का नाम रौशन किया. जब मैं वहां गया तो मेरा मन हुआ कि मैं सफाई कामगारों के पैर धोकर सम्मान करूं, इसलिए मैने ऐसा किया और ये हमारे संस्कार हैं.'' उन्होंने कहा कि ''जब कुछ लोग कहते हैं कि यह राजनीति है तो वे मुझे जानते नहीं.''


मोदी ने पहली बार गुजरात का मुख्यमंत्री बनने के दौरान सरकारी आवास में गृह प्रवेश का उल्लेख किया. उन्होंने कहा कि ''अफसरों ने मुझसे पहली बार सरकारी आवास में प्रवेश से पहले पूजा, कलश स्थापना को लेकर पूछा. मैने उनसे चतुर्थ श्रेणी सरकारी कर्मचारी को लाने के लिए कहा. वे एक दलित कर्मी को लेकर आए और मैने उसकी बेटी के हाथों 'कलश' की स्थापना करायी.'' मोदी ने कहा ''यह मेरी संस्कृति का हिस्सा है, मेरे संस्कार हैं.''


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