Terror Funding: टेरर फंडिंग (Terror Funding) और आतंकवादी संगठनों (Terrorist Organisation) का प्रचार करने के मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने तमिलनाडु (Tamilnadu) समेत कई जगहों पर छापेमारी की है. एजेंसी के मुताबिक ये छापेमारी आतंकी गतिविधि में चल रही एक जांच (Investigation) के सिलसिले में की है. एनआईए के अधिकारियों ने तमिलनाडु के चेन्नई, करईकल और मईलाडुटुरै में सर्च अभियान चलाया. मामला आईएसआईएस (ISIS) के लिए फंड जुटाने और उसके प्रचार करने से संबंधित है. इस मामले में मुख्य आरोपी जेल के अंदर है और एजेंसी सर्च ऑपरेशन (Search Operation) चला ही है. वहीं बताया जा रहा है कि मईलाडुटुरै (Mayiladuthurai) में कुछ लोगों की गिरफ्तारी भी हुई है.
जानकारी के मुताबिक मुख्य आरोपी से पूछताछ के बाद एनआईए को कई सुराग मिले थे जिस वजह से तमिलनाडु और पुदुचेरी में छापेमारी की गई. दिल्ली समेत चेन्नई शाखा की एनआईए की टीम अलग-अलग ठिकानों पर इस मामले से जुड़े सबूत खोज रही है. उम्मीद जताई जा रही कि इस मामले में कुछ अन्य आरोपियों की भी गिरफ्तारी हो सकती है.
इस तरह आया एनआईए के पास केस
एनआईए ने तमिलनाडु के साथिक बाशा, मोहम्मद इशाक, जगबर अली और रहमत के साथ-साथ पुदुचेरी के मोहम्मद इरफान को आंतकवादियों से सांठगांठ करके भारत में आतंकवादी संगठन खड़ा करने के प्रयासों के आरोप में गिरफ्तार किया था. तमिलनाडु पुलिस ने गैर कानूनी गतिविधियों में लिप्त होने के आरोप में इनके खिलाफ मामला दर्ज किया था इसके बाद यह मामला एनआईए ने अपने हाथ में ले लिया.
केंद्र सरकार ने एनआईए को सौंपा था केस
केंद्र सरकार (Central Government) ने इस पुख्ता सूचना के बाद मामले को एनआईए (NIA) को सौंपा कि साथिक (Sathik) देश विरोधी गतिविधियों में संलिप्त है, मनिथा नीति पसाराई संगठन का सदस्य है और आईएस (IS) विचारधारा का समर्थक है. इस मामले में दर्ज प्राथमिकी (FIR) में कहा गया कि, पकड़े गए सभी आईएस (ISIS) से जुड़े है और भारत (India) में इस संगठन की जड़े मजबूत करने का काम कर रहे हैं.
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