Doctor's Protest: नीट-पीजी 2021 काउंसलिंग में देरी को लेकर दिल्ली में सोमवार को प्रदर्शन कर रहे रेजिडेंट डॉक्टरों की पुलिस से झड़प हो गई थी. दोनों पक्षों ने दावा किया था कि उनकी ओर के कई लोग घायल हुए हैं. इस घटना की दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने आलोचना की और पीएम नरेंद्र मोदी को खत लिखकर जल्द से जल्द नीट-पीजी काउंसलिंग कराने की मांग की. 


खत में केजरीवाल ने लिखा, ओमिक्रोन वायरस के खतरे के बीच एम्स, सफदरजंग और राम मनोहर लोहिया जैसे बड़े सरकारी अस्पतालों में रेजिडेंट डॉक्टर हड़ताल पर हैं. सोमवार को जब ये प्रदर्शन कर रहे थे, तब पुलिस ने इनके साथ मारपीट की, हाथ उठाया और दुर्व्यवहार किया. 






खत में आगे सीएम अरविंद केजरीवाल ने लिखा, ये वही डॉक्टर हैं, जिन्होंने कोरोना महामारी में अपनी जान की परवाह न करते हुए कोविड मरीजों की सेवा की. न जाने इस दौरान कितने डॉक्टरों की जान गई लेकिन फिर भी वे कर्तव्यों से पीछे नहीं हटे. मेरा अनुरोध है कि जल्द से जल्द नीट-पीजी काउंसलिंग कराई जाए. 


पुलिस ने किया डॉक्टरों के आरोपों से इनकार


हालांकि, पुलिस ने लाठीचार्ज करने या अभद्र भाषा का इस्तेमाल करने के आरोपों से इनकार किया और कहा कि 12 प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया गया और बाद में उन्हें रिहा कर दिया गया था. पुलिस ने कहा कि छह से आठ घंटे तक प्रदर्शनकारियों ने आईटीओ रोड को जाम कर दिया. उनसे बार-बार अनुरोध किया गया कि वे वहां से हट जाएं, लेकिन उन्होंने इसे अनसुना कर दिया.


क्यों नहीं हो पा रही नीट पीजी काउंसलिंग, स्वास्थ्य मंत्री ने बताया


इस बीच केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने NEET PG काउं​सलिंग में हो रही देरी को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे रेजिडेंट डॉक्टर के साथ बैठक की. मांडविया ने कहा, रेजिडेंट डॉक्टर तुरंत काउंसलिंग शुरू करने के लिए कई दिनों से अपना विरोध दर्ज़ कर रहे हैं. सुप्रीम कोर्ट में केस होने से हम काउंसलिंग नहीं कर पा रहे हैं. 


स्वास्थ्य मंत्री ने आगे कहा, 6 जनवरी को कोर्ट में सुनवाई है इससे पहले भारत सरकार की ओर से हम सुप्रीम कोर्ट में रिपोर्ट जमा कर देंगे. हमारे डॉक्टर सोमवार को जब धरना दे रहे थे तब उनके साथ पुलिस की ओर से दुर्व्यवहार हुआ हो तो उसके लिए मैं खेद जताता हूं.