Chandra Bose Questions Kangna Ranaut Netaji Comment: नेताजी सुभाष चंद्र बोस को देश का पहला प्रधानमंत्री बताने वाली बीजेपी उम्मीदवार कंगना रनौत पर अब नेताजी के परिवार के एक सदस्य ने सवाल खड़ा किया है. नेताजी के पोते और पूर्व बीजेपी नेता चंद्र कुमार बेस ने कंगना के बयान को नेताजी की विरासत से छेड़छाड़ बताया है.
अदाकारा से नेता बनीं कंगना रनौत को फटकार लगाते हुए, चंद्र कुमार बोस ने कहा कि कंगना का बयान इतिहास को विकृत करने और राजनीतिक लाभ के लिए बोस की विरासत में हेरफेर करने का प्रयास है. इसकी कड़ी निंदा करते हैं.
'नेहरू भारत के पहले पीएम थे'
रानौत ने हाल ही में यह कह कर विवाद खड़ा कर दिया था कि बोस भारत के पहले प्रधान मंत्री थे. इस दावे का खंडन करते हुए बोस के पोते, चंद्र बोस ने कहा “बंगाल और पंजाब के विभाजन के बाद नेहरू भारत के पहले प्रधान मंत्री थे. यह इतिहास है. इसे कोई नहीं बदल सकता." इसके अलावा उन्होंने कहा, “नेताजी का इस्तेमाल नेहरू और कांग्रेस का मुकाबला करने के लिए किया जा रहा है, जो बेहद आपत्तिजनक है.”
'यह सच है कि नेहरू और नेताजी में मतभेद थे'
चंद्र बोस ने यह बात स्वीकारते हुए कहा, “हालांकि नेताजी और नेहरू में मतभेद थे, फिर भी वे एक-दूसरे का सम्मान करते थे. अगर ऐसा नहीं होता, तो नेता जी आजाद हिंद फौज की ब्रिगेड का नाम नेहरू और गांधी के नाम पर नहीं रखते.”
हिमाचल प्रदेश में कंगना रनौत ने कहा था कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस भारत के पहले प्रधानमंत्री थे, जवाहरलाल नेहरू नहीं. इसे लेकर कांग्रेस ने तीखा हमला बोला था. इसके बाद सोशल मीडिया पर भी उनकी तीखी आलोचना हो रही थी, जिसका जवाब उन्होंने दिया है.
विवाद पर कंगना रनौत का क्या था जवाब?
कंगना रनौत ने आलोचकों को कहा है कि यह बात आप लोगों के आईक्यू लेवल से ऊपर की चीज़ है. असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने भी कंगना रनौत का समर्थन करते हुए कहा था कि आजादी से चार साल पहले 1943 में नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने आज़ाद हिन्द सरकार बनायी थी, जिसे दुनिया भर के नौ देशों ने भारत की आधिकारिक सरकार के तौर पर मान्यता दी थी.