National Highways Maintenance: सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने नेशनल हाईवे के रखरखाव के लिए एनएचएआई (NHAI) को 1300 करोड़ रुपये के आवंटन में संशोधन किया है. यह चालू वित्त वर्ष के लिए मौजूदा आवंटन से लगभग 44 फीसदी ज्यादा है. संसदीय स्थायी समिति सहित राष्ट्रीय राजमार्गों के उचित रखरखाव पर उठाई गई चिंताओं के बीच यह कदम उठाया गया है.


मंत्रालय ने पिछले हफ्ते जारी एक आदेश में कहा कि एनएचएआई के तहत मौजूदा 900 करोड़ रुपये के आवंटन के अलावा 400 करोड़ रुपये का अतिरिक्त आवंटन किया है. इस पैसे का इस्तेमाल केवल विशेष मकसद के लिए किया जाएगा. NHAI ने अपने सभी नेशनल हाईवे (National Highways) को गड्ढा मुक्त करने के लिए एक विशेष अभियान चलाया है. इसी तरह, राज्य के लोक निर्माण विभागों (PWD) की ओर से नेशनल हाईवे के रखरखाव के लिए आवंटन को पहले के 132 करोड़ रुपये की तुलना में संशोधित कर 280 करोड़ रुपये कर दिया गया है. 


रिपेयर और मेंटेनेंस पर जताई चिंता


अधिकारियों ने कहा कि विभिन्न राज्यों में बारिश के कारण क्षतिग्रस्त हुई सड़कों की मरम्मत के लिए भी अतिरिक्त आवंटन किया गया है. एक अधिकारी ने कहा, "मंत्रालय समय-समय पर जरूरत पर विचार करते हुए बजट के आवंटन को संशोधित करता है," यहां तक ​​कि राजमार्ग प्राधिकरण और राज्य पीडब्ल्यूडी के पास सड़क संपत्तियों के रखरखाव के लिए धन आवंटन का मौजूदा स्तर भी कम है.


देश में राष्ट्रीय राजमार्गों का नेटवर्क का लगभग 50 फीसदी अभी भी राज्य पीडब्ल्यूडी मैनेज करती है और राज्य एजेंसियों को इसके लिए सड़क परिवहन मंत्रालय से फंड मिलता है. हाल के सालों में, विभाग से संबंधित संसदीय समितियों ने एनएच के रखरखाव और मरम्मत के लिए पैसों के अपर्याप्त आवंटन पर चिंता जताई है और बार-बार सिफारिश की है कि सरकार को केंद्रीय बजट में इसके लिए आवंटन बढ़ाना चाहिए. 


नितिन गडकरी ने दिया निर्देश


"सड़क क्षेत्र से संबंधित मुद्दे" टाइटल वाली अपनी पिछली रिपोर्ट में, पैनल ने उल्लेख किया था कि एनएचएआई और राजमार्ग मंत्रालय मंत्रालय के अनुमानित वास्तविक जरूरतों के लगभग 40 फीसदी के आवंटन के साथ एनएच के रखरखाव का काम कर रहे थे. जरूरत को पूरा करने के लिए फंड के 100% आवंटन की सिफारिश करते हुए पैनल ने कहा था, "नए एनएच के निर्माण की तुलना में रखरखाव और मरम्मत को उच्च प्राथमिकता दी जानी चाहिए. मरम्मत और रखरखाव के लिए बजट में किसी भी तरह की कमी के परिणामस्वरूप सैकड़ों सड़कों को नुकसान हो सकता है."


वास्तव में, राजमार्गों के तेजी से निर्माण और उसके चौड़ीकरण के बावजूद, एनएच के कुछ हिस्सों के खराब रखरखाव के लिए सरकार को अक्सर आलोचना का सामना करना पड़ा है. केंद्रीय राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी इंजीनियरों को यह भी निर्देश दिया है कि वे ऐसे मटेरियल का चुनाव करें, जिसकी लाइफ लंबी हो. साथ ही जिसे बार-बार मरम्मत और रखरखाव की जरूरत न हो.


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