NIA Declares Cash Reward: कहां छुपा है गोल्डी बरार? पता देने वाले को NIA देगा 10 लाख रुपए का इनाम
NIA Declares Cash Reward: एनआईए की कार्रवाई चंडीगढ़ में एक पीड़ित के घर पर जबरन वसूली और गोलीबारी से संबंधित मामले को लेकर की गई थी. हालांकि, अब एनआईए ने दोनों ही गैंगस्टरों पर इनाम की घोषणा की है.
NIA Declares Cash Reward: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने चंडीगढ़ में जबरन वसूली और गोलीबारी मामले में भगोड़े गैंगस्टर और आतंकी गोल्डी बरार और उसके एक अन्य साथी पर इनाम का ऐलान किया है. एनआईए ने वांटेड आतंकवादी गोल्डी बराड़ और एक अन्य गैंगस्टर की गिरफ्तारी या पकड़वाने के लिए कोई भी जानकारी देने पर 10-10 लाख रुपए का इनाम देने की ऐलान किया है.
दरअसल, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने बुधवार को चंडीगढ़ में एक कारोबारी के घर पर जबरन वसूली और गोलीबारी के मामले में वांटेड आतंकवादी गोल्डी बरार और एक अन्य गैंगस्टर की तलाश में अपना जाल फैलाया और उनकी गिरफ्तारी के लिए नकद इनाम की घोषणा की. एजेंसी ने आगे कहा कि सूचना देने वाले की पहचान गुप्त रखी जाएगी. बता दें कि, दोनों आरोपी 8 मार्च 2024 को जबरन वसूली के लिए एक कारोबारी के घर पर गोलीबारी से जुड़े मामले में वांटेड चल रहे हैं.
दोनों को गिरफ्तारी के लिए NIA ने जांच की तेज
वहीं, पंजाब के आदेश नगर के आरोपी सतविंदर सिंह उर्फ सतिंदरजीत सिंह उर्फ गोल्डी बराड़ और पंजाब के राजपुरा में बाबा दीप सिंह कॉलोनी के आरोपी गुरप्रीत सिंह उर्फ गोल्डी ढिल्लों उर्फ गोल्डी राजपुरा के खिलाफ आईपीसी, यूए(पी) एक्ट और आर्म्स एक्ट की कई धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है. हालांकि, अब इन दोनों को गिरफ्तारी के लिए के लिए राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने अपनी जांच तेज कर दी है.
NIA Declares Cash Reward for Arrest of Designated Terrorist Goldy Brar & 1 other in Chandigarh Extortion & Firing Case pic.twitter.com/Mr2nG9Fax7
— NIA India (@NIA_India) June 26, 2024
गैंगस्टर गोल्डी बरार से जुड़े 9 ठिकानों पर NIA की थी रेड
इस महीने की शुरुआत में पंजाब में राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने भगोड़े गैंगस्टर गोल्डी बरार और उसके साथियों से जुड़े 9 ठिकानों पर छापेमारी की. एनआईए ने जबरन वसूली और गोलीबारी के मामले से जुड़ी रेड में डिजिटल डिवाइस समेत आपत्तिजनक सामान जब्त किया था. दरअसल, एनआईए की कार्रवाई चंडीगढ़ में एक पीड़ित के घर पर जबरन वसूली और गोलीबारी से जुड़े मामले को लेकर की गई थी. यह मामला मूल रूप से लोकल पुलिस ने इस साल 20 जनवरी को दर्ज किया था और एनआईए ने 18 मार्च को जांच अपने हाथ में ले ली थी.